मैं तुझे अत्यन्त फलवन्त करूँगा, और तुझ को जाति जाति का मूल बना दूँगा, और तेरे वंश में राजा उत्पन्न होंगे।
उत्पत्ति 41:52 - पवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI) दूसरे का नाम उसने यह कहकर एप्रैम रखा, कि ‘मुझे दु:ख भोगने के देश में परमेश्वर ने फलवन्त किया है।’ पवित्र बाइबल यूसुफ ने दूसरे पुत्र का नाम एप्रैम रखा। यूसुफ ने उसका नाम यह रखा क्योंकि उसने बताया, “मुझे बहुत दुःख मिला, लेकिन परमेश्वर ने मुझे फुलाया—फलाया।” Hindi Holy Bible और दूसरे का नाम उसने यह कहकर एप्रैम रखा, कि मुझे दु:ख भोगने के देश में परमेश्वर ने फुलाया फलाया है। पवित्र बाइबिल CL Bible (BSI) उसने दूसरे पुत्र का नाम ‘एफ्रइम’ रखा, क्योंकि वह कहता था, ‘परमेश्वर ने मुझे उस देश में फलवन्त किया है, जहाँ मुझे विपत्तियाँ झेलनी पड़ी थीं।’ नवीन हिंदी बाइबल दूसरे पुत्र का नाम उसने यह कहकर एप्रैम रखा, “परमेश्वर ने मेरे कष्टों के देश में मुझे फलवंत किया है।” सरल हिन्दी बाइबल उन्होंने दूसरे पुत्र का नाम एफ्राईम रखा, क्योंकि उनका कहना था, “दुःख मिलने की जगह इस देश में परमेश्वर ने मुझे फलवंत किया.” इंडियन रिवाइज्ड वर्जन (IRV) हिंदी - 2019 दूसरे का नाम उसने यह कहकर एप्रैम रखा, कि ‘मुझे दुःख भोगने के देश में परमेश्वर ने फलवन्त किया है।’ |
मैं तुझे अत्यन्त फलवन्त करूँगा, और तुझ को जाति जाति का मूल बना दूँगा, और तेरे वंश में राजा उत्पन्न होंगे।
सर्वशक्तिमान ईश्वर तुझे आशीष दे, और फलवन्त कर के बढ़ाए, और तू राज्य राज्य की मण्डली का मूल हो।
यूसुफ ने अपने जेठे का नाम यह कहके मनश्शे रखा, कि ‘परमेश्वर ने मुझ से मेरा सारा क्लेश, और मेरे पिता का सारा घराना भुला दिया है।’
इन बातों के पश्चात् किसी ने यूसुफ से कहा, “सुन, तेरा पिता बीमार है।” तब वह मनश्शे और एप्रैम नामक अपने दोनों पुत्रों को संग लेकर उसके पास चला।
तब इस्राएल ने अपना दाहिना हाथ बढ़ाकर एप्रैम के सिर पर जो छोटा था, और अपना बायाँ हाथ बढ़ाकर मनश्शे के सिर पर रख दिया; उसने जान बूझकर ऐसा किया नहीं तो जेठा मनश्शे ही था।
और अब तेरे दोनों पुत्र, जो मिस्र में मेरे आने से पहले उत्पन्न हुए हैं, वे मेरे ही ठहरेंगे; अर्थात् जिस रीति से रूबेन और शिमोन मेरे हैं, उसी रीति से एप्रैम और मनश्शे भी मेरे ठहरेंगे।
यूसुफ फलवन्त लता की एक शाखा* है, वह सोते के पास लगी हुई फलवन्त लता की एक शाखा है; उसकी डालियाँ भीत पर से चढ़कर फैल जाती हैं।
और यूसुफ एप्रैम के परपोतों तक को देखने पाया; और मनश्शे के पोते, जो माकीर के पुत्र थे, वे उत्पन्न हुए और यूसुफ ने उन्हें गोद में लिया।
और कटोरों में से दाखमधु पीते, और उत्तम उत्तम तेल लगाते हो, परन्तु यूसुफ पर आनेवाली विपत्ति का हाल सुनकर शोकित नहीं होते!
और उसे उसके सब क्लेशों से छुड़ाकर मिस्र के राजा फ़िरौन की दृष्टि में अनुग्रह और बुद्धि प्रदान की, और उसने उसे मिस्र पर और अपने सारे घर पर हाकिम नियुक्त किया।
यूसुफ के वंश के तो दो गोत्र हो गए थे, अर्थात् मनश्शे और एप्रैम; और उस देश में लेवियों को कुछ भाग न दिया गया, केवल रहने के नगर, और पशु आदि धन रखने को चराइयाँ उनको मिलीं।
फिर यूसुफ के जेठे मनश्शे के गोत्र का भाग चिट्ठी डालने से यह ठहरा। मनश्शे का जेठा पुत्र, गिलाद का पिता माकीर, योद्धा था इस कारण उसके वंश को गिलाद और बाशान मिला।
तब हन्ना गर्भवती हुई और समय पर उसके एक पुत्र हुआ, और उसका नाम शमूएल रखा, क्योंकि वह कहने लगी, “मैं ने यहोवा से माँगकर इसे पाया है।”