2 तीमुथियुस 2:24 - नवीन हिंदी बाइबल परमेश्वर के दास को झगड़ालू नहीं होना चाहिए, बल्कि वह सब के साथ भला, शिक्षा देने में निपुण, सहनशील, पवित्र बाइबल और प्रभु के सेवक को तो झगड़ना ही नहीं चाहिए। उसे तो सब पर दया करनी चाहिए। उसे शिक्षा देने में योग्य होना चाहिए। उसे सहनशील होना चाहिए। Hindi Holy Bible और प्रभु के दास को झगड़ालू होना न चाहिए, पर सब के साथ कोमल और शिक्षा में निपुण, और सहनशील हो। पवित्र बाइबिल CL Bible (BSI) और प्रभु के सेवक को झगड़ालू नहीं, बल्कि सबके प्रति मिलनसार तथा सहनशील होना चाहिए। वह शिक्षा देने के लिए तैयार रहे पवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI) प्रभु के दास को झगड़ालू नहीं होना चाहिए, पर वह सब के साथ कोमल और शिक्षा में निपुण और सहनशील हो। सरल हिन्दी बाइबल प्रभु के दास का झगड़ालू होना सही नहीं है. वह सबके साथ कृपालु, निपुण शिक्षक, अन्याय की स्थिति में धीरजवंत हो, इंडियन रिवाइज्ड वर्जन (IRV) हिंदी - 2019 और प्रभु के दास को झगड़ालू नहीं होना चाहिए, पर सब के साथ कोमल और शिक्षा में निपुण, और सहनशील हो। |
अतः यहूदी यह कहते हुए आपस में वाद-विवाद करने लगे, “यह हमें खाने के लिए अपना मांस कैसे दे सकता है?”
इस पर पौलुस और बरनाबास का उनके साथ बड़ा मतभेद तथा वाद-विवाद हुआ। तब पौलुस और बरनाबास तथा उनमें से कुछ अन्य लोगों को नियुक्त किया गया कि वे इस विवाद को लेकर प्रेरितों और प्रवरों के पास यरूशलेम जाएँ।
तब बड़ा कोलाहल मच गया, और फरीसियों के दल के कुछ शास्त्री उठ खड़े हुए और यह कहकर झगड़ने लगे, “हम इस मनुष्य में कोई बुराई नहीं पाते; यदि किसी आत्मा या स्वर्गदूत ने उससे बातें की हैं तो क्या?”
फिर दूसरे दिन जब उसने उन्हें झगड़ते हुए देखा तो यह कहते हुए उनका मेल कराने लगा, ‘हे पुरुषो, तुम तो भाई-भाई हो; एक दूसरे को क्यों मारते हो?’
अब मैं, पौलुस, जो तुम्हारे बीच होने पर तो दीन परंतु न होने पर तुम्हारे प्रति साहसी हूँ, स्वयं मसीह की नम्रता और कोमलता में तुमसे आग्रह करता हूँ।
क्योंकि हमारे युद्ध के हथियार शारीरिक नहीं बल्कि परमेश्वर द्वारा सामर्थी हैं जिनसे हम गढ़ों को ध्वस्त करते,
बल्कि हम हर बात में परमेश्वर के सेवकों के समान अपने आपको प्रस्तुत करते हैं, अर्थात् बड़े धीरज के साथ क्लेशों में, अभावों में, संकटों में,
यदि किसी को किसी के विरुद्ध कोई शिकायत है तो एक दूसरे की सह लो, और एक दूसरे को क्षमा करो। जैसे प्रभु ने तुम्हें क्षमा किया, वैसे तुम भी करो;
जबकि मसीह के प्रेरित होने के नाते हम तुम पर बोझ बन सकते थे। हमने तुम्हारे बीच में रहकर कोमलता दिखाई, जैसे एक माता अपने बच्चों का पालन-पोषण करती है।
परंतु हे परमेश्वर के जन, तू इन बातों से भाग; और धार्मिकता, भक्ति, विश्वास, प्रेम, धीरज और नम्रता का पीछा कर।
परमेश्वर के दास और यीशु मसीह के प्रेरित पौलुस की ओर से, जो परमेश्वर के चुने हुओं के विश्वास और सत्य के उस ज्ञान के लिए ठहराया गया है जो भक्ति की ओर ले जाता है;
परमेश्वर के भंडारी के रूप में अध्यक्ष के लिए आवश्यक है कि वह निर्दोष हो; वह न तो अहंकारी, न क्रोधी, न पियक्कड़, न मारपीट करनेवाला और न ही धन का लोभी हो,
और वह उस विश्वासयोग्य वचन को दृढ़ता से थामे रहे जो धर्मोपदेश के अनुसार है, ताकि वह खरी शिक्षा का उपदेश दे सके और विरोधियों का मुँह भी बंद कर सके।
वे किसी की निंदा न करें, लड़ाई-झगड़ा न करें, शालीन हों और सब मनुष्यों के साथ नम्रतापूर्वक व्यवहार करें।
परमेश्वर और प्रभु यीशु मसीह के दास याकूब की ओर से उन बारह गोत्रों को जो तितर-बितर हैं, नमस्कार।
परंतु जो ज्ञान ऊपर से आता है वह पहले पवित्र है, फिर शांतिप्रिय, विनम्र, विचारशील, दया और अच्छे फलों से भरा हुआ, पक्षपात-रहित और निष्कपट है;
तुम लालसा करते हो और जब तुम्हें मिलता नहीं तो तुम हत्या करते हो। तुम ईर्ष्या करते हो और जब कुछ प्राप्त नहीं कर सकते तो तुम लड़ते और झगड़ते हो। तुम्हें इसलिए नहीं मिलता क्योंकि तुम माँगते नहीं।
हे प्रियो, जब मैं तुम्हें उस उद्धार के विषय में लिखने के लिए अत्यंत उत्सुक हो रहा था, जिसमें हम सहभागी हैं, तो मैंने यह आवश्यक समझा कि मैं तुम्हें लिखकर उस विश्वास के लिए प्रयत्नशील रहने को प्रोत्साहित करूँ जो पवित्र लोगों को एक ही बार सदा के लिए सौंपा गया है।