भजन संहिता 66:14 - पवित्र बाइबिल CL Bible (BSI)14 जब मैं संकट में था तब उन मन्नतों को मैंने अपने ओंठों से उच्चारा था; उनको अपने मुंह से स्वीकार किया था। अध्याय देखेंHindi Holy Bible14 जो मैं ने मुंह खोलकर मानीं, और संकट के समय कही थीं। अध्याय देखेंपवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI)14 जो मैं ने मुँह खोलकर मानीं, और संकट के समय कही थीं। अध्याय देखेंनवीन हिंदी बाइबल14 जो संकट के समय मैंने मुँह खोलकर कही और मानी थीं। अध्याय देखेंसरल हिन्दी बाइबल14 वे सभी प्रतिज्ञाएं, जो विपत्ति के अवसर पर स्वयं मैंने अपने मुख से की थी. अध्याय देखें |
उसने प्रभु से यह स्पष्ट मन्नत मानी, ‘हे स्वर्गिक सेनाओं के प्रभु, यदि तू अपनी सेविका के दु:ख पर निश्चय ही दृष्टि करेगा, मेरी सुधि लेगा, अपनी सेविका को नहीं भूलेगा, और मुझे, अपनी सेविका को एक पुत्र प्रदान करेगा तो मैं उसे जीवन भर के लिए तुझ-प्रभु की सेवा में अर्पित कर दूँगी। उसके सिर पर उस्तरा कभी नहीं फेरा जाएगा।’