40 प्रभु धार्मिक मनुष्यों की सहायता करता और उन्हें मुक्त करता है; वह दुर्जनों से उन्हें छुड़ाकर उनकी रक्षा करता है; क्योंकि वे उसकी शरण में आते हैं।
परन्तु हगारई आदि सेनाओं को इस्राएली सैनिकों के विरुद्ध सहायता प्राप्त हुई। तब इस्राएली सैनिकों ने परमेश्वर से प्रार्थना की। परमेश्वर ने उनकी विनती को सुना; क्योंकि उन्होंने परमेश्वर पर भरोसा किया था। अत: उसने हगारई सेना तथा उसके पक्ष की अन्य जातियों की सेनाओं को जो उसके साथ थीं, इस्राएलियों के हाथ में सौंप दिया।
जैसे पक्षी अपने घोंसले के चारों ओर मंडराकर अपने बच्चों की रक्षा करते हैं, वैसे ही मैं-स्वर्गिक सेनाओं का प्रभु यरूशलेम नगर की रक्षा करूंगा। मैं यरूशलेम की रक्षा कर उसको मुक्त करूंगा; मैं उसको नष्ट न होने दूंगा, मैं उसको बचाऊंगा।
और तुम्हारी वृद्धावस्था तक, तुम्हारे बूढ़े होने तक, तुम्हें उठाए रहूंगा, क्योंकि मैं ‘वही प्रभु’ हूं। मैंने तुम्हें रचा है, अत: मैं तुम्हारा बोझ उठाऊंगा; मैं तुम्हें ढोऊंगा, और तुम्हारी रक्षा करूंगा।
यदि हमारे साथ ऐसा व्यवहार किया जाएगा, तो हम जिस परमेश्वर की सेवा-आराधना करते हैं, वह हमें धधकती हुइ अग्नि की भट्ठी में से भी छुड़ा लेगा। महाराज, वह हमें आपके हाथ से भी छुड़ा सकता है।
नबूकदनेस्सर ने कहा, ‘धन्य है शद्रक, मेशक और अबेदनगो का परमेश्वर, जिसने दूत भेजकर अपने विश्वस्त सेवकों को बचाया, जिन्होंने मेरी राजाज्ञा की उपेक्षा की, और अपना शरीर आग को अर्पण कर दिया कि वे किसी अन्य देवता की आराधना न कर केवल अपने ही परमेश्वर की आराधना करें।
यह सुनकर सम्राट दारा बहुत प्रसन्न हुआ। उसने दानिएल को मांद से बाहर निकालने का आदेश दिया। सम्राट के कर्मचारियों ने दानिएल को मांद से बाहर निकाला। दानिएल के शरीर पर खरोंच भी नहीं लगी थी; क्योंकि वह अपने परमेश्वर पर भरोसा करते थे।
हम जानते हैं कि जो परमेश्वर से उत्पन्न हुआ है, वह पाप नहीं करता। परमेश्वर का पुत्र उसकी रक्षा करता है और दुष्ट शैतान उसे स्पर्श तक नहीं करने पाता।