याहवेह, महिमा, सामर्थ, प्रताप, विजय और वैभव, यानी सभी कुछ, जो स्वर्ग और पृथ्वी में है, आपका ही है. याहवेह, प्रभुता आपकी ही है; आपने अपने आपको सबके ऊपर मुख्य और महान किया हुआ है.
1 शमूएल 15:29 - सरल हिन्दी बाइबल इस्राएल के परम प्रधान अपनी बातें नहीं बदलते, और न ही वह अपने विचार बदलते हैं, क्योंकि वह मनुष्य नहीं कि अपने विचार बदलते रहें.” पवित्र बाइबल यहोवा इस्राएल का परमेश्वर है। यहोवा शाश्वत है। योहवा न तो झूठ बोलता है, न ही अपना मन बदलता है। यहोवा मनुष्य की तरह नहीं है जो अपने इरादे बदलते हैं।” Hindi Holy Bible और जो इस्राएल का बलमूल है वह न तो झूठ बोलता और न पछताता है; क्योंकि वह मनुष्य नहीं है, कि पछताए। पवित्र बाइबिल CL Bible (BSI) इसके अतिरिक्त इस्राएल का महिमामय परमेश्वर झूठ नहीं बोलता, और न अपने वचन से मुँह मोड़ता है। वह मनुष्य नहीं है कि अपने वचन से मुँह मोड़े।’ पवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI) और जो इस्राएल का बलमूल है वह न तो झूठ बोलता और न पछताता है; क्योंकि वह मनुष्य नहीं है कि पछताए।” इंडियन रिवाइज्ड वर्जन (IRV) हिंदी - 2019 और जो इस्राएल का बलमूल है वह न तो झूठ बोलता और न पछताता है; क्योंकि वह मनुष्य नहीं है, कि पछताए।” (इब्रा. 6:18) |
याहवेह, महिमा, सामर्थ, प्रताप, विजय और वैभव, यानी सभी कुछ, जो स्वर्ग और पृथ्वी में है, आपका ही है. याहवेह, प्रभुता आपकी ही है; आपने अपने आपको सबके ऊपर मुख्य और महान किया हुआ है.
याहवेह अपनी प्रजा को बल प्रदान करते हैं; याहवेह अपनी प्रजा को शांति की आशीष प्रदान करते हैं.
परमेश्वर, अपने मंदिर में आप कितने शोभायमान लगते हैं; इस्राएल के परमेश्वर अपनी प्रजा को अधिकार एवं सामर्थ्य प्रदान करते हैं. परमेश्वर का स्तवन होता रहे!
मेरे विषय में लोग कहेंगे कि, ‘केवल याहवेह में ही नीति और शक्ति है.’ ” मनुष्य उनकी ओर चले आएंगे, वे सभी जिन्होंने उन पर क्रोध किया वे लज्जित किए जाएंगे.
“ ‘मैं, याहवेह ने कहा है. मेरे लिये काम करने का समय आ गया है. मैं नहीं छोड़ूंगा; मैं दया नहीं करूंगा, न ही नरम होऊंगा. तुम्हारे चालचलन और तुम्हारे कार्यों के अनुसार तुम्हारा न्याय होगा, परम प्रधान याहवेह की घोषणा है.’ ”
याहवेह ज़ियोन से गरजेंगे और येरूशलेम से गर्जन सुनाई देगा; आकाश और पृथ्वी कांप उठेंगे. पर याहवेह अपने लोगों के लिए एक शरणस्थान, और इस्राएल के लोगों के लिए एक सुरक्षा गढ़ होंगे.
परमेश्वर मनुष्य तो हैं नहीं, कि झूठी बात करें, न ही वह मानव की संतान हैं, कि उन्हें अपना मन बदलना पड़े. क्या, यह संभव है कि उन्होंने कुछ कहा है? और उन्हें वह पूरा करना असंभव हो गया?
प्रभु का उत्तर था: “कमज़ोरी में मेरा सामर्थ्य सिद्ध हो जाता है इसलिये तुम्हारे लिए मेरा अनुग्रह ही काफ़ी है.” इसके प्रकाश में मैं बड़े हर्ष के साथ अपनी कमज़ोरियों के विषय में गर्व करूंगा कि मेरे द्वारा प्रभु मसीह का सामर्थ्य सक्रिय हो जाए.
वह परमेश्वर, जो सनातन हैं, एक आसरा हैं, और उसके नीचे हैं वे भुजाएं, जो हमेशा के लिए हैं, याहवेह ने ही उस शत्रु को तुम्हारे सामने से खदेड़ दिया, और आदेश दिया, ‘नाश हो जाओ!’
हम चाहे सच्चाई पर चलना त्याग दें, तो भी वह विश्वासयोग्य रहते हैं, क्योंकि वह अपने स्वभाव के विरुद्ध नहीं जा सकते.
जो अनंत जीवन की आशा में परमेश्वर की प्रतिज्ञा के अनुसार है, जिस अनंत जीवन की प्रतिज्ञा सनातन से ही परमेश्वर द्वारा की गई, जो कभी झूठ नहीं बोलते,
इसलिए कि दो न बदलनेवाली वस्तुओं द्वारा, जिनके विषय में परमेश्वर झूठे साबित हो ही नहीं सकते; हमें, जिन्होंने उनकी शरण ली है, उस आशा को सुरक्षित रखने का दृढ़ता से साहस प्राप्त हो, जो हमारे सामने प्रस्तुत की गई है.
किंतु मसीह की नियुक्ति उनकी शपथ के द्वारा हुई, जिन्होंने उनके विषय में कहा: “प्रभु ने शपथ ली है और वह अपना विचार परिवर्तित नहीं करेंगे: ‘तुम अनंत काल के पुरोहित हो.’ ”