भजन संहिता 61:4 - पवित्र बाइबिल CL Bible (BSI) मैं युग-युगान्त तेरे शिविर में रहूँगा; मैं तेरे पंखों के आश्रय में शरण लूंगा। सेलाह पवित्र बाइबल तेरे डेरे में, मैं सदा सदा के लिए निवास करूँगा। मैं वहाँ छिपूँगा जहाँ तू मुझे बचा सके। Hindi Holy Bible मै तेरे तम्बू में युगानुयुग बना रहूंगा। मैं तेरे पंखों की ओट में शरण लिये रहुंगा पवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI) मैं तेरे तम्बू में युगानुयुग बना रहूँगा। मैं तेरे पंखों की ओट में शरण लिए रहूँगा। (सेला) नवीन हिंदी बाइबल मैं सर्वदा तेरे तंबू में वास करूँगा और तेरे पंखों की ओट में शरण लिए रहूँगा। सेला। सरल हिन्दी बाइबल मेरी लालसा है कि मैं आपके आश्रय में चिरकाल निवास करूं और आपके पंखों की छाया में मेरी सुरक्षा रहे. इंडियन रिवाइज्ड वर्जन (IRV) हिंदी - 2019 मैं तेरे तम्बू में युगानुयुग बना रहूँगा। मैं तेरे पंखों की ओट में शरण लिए रहूँगा। (सेला) |
निश्चय भलाई और करुणा जीवन भर मेरा अनुसरण करेंगी; और मैं प्रभु के घर में युग-युगांत निवास करूंगा।
मैंने केवल एक वरदान प्रभु से मांगा है; मैं जीवन पर्यन्त प्रभु के घर में निवास करूँ, और प्रभु के सौन्दर्य को निहार सकूँ; उसके भवन में दर्शन करूँ। मैं इसी वरदान की खोज करूँगा।
हे परमेश्वर, मुझ पर कृपा कर; मुझ पर कृपा कर; क्योंकि मैं तेरी ही शरण में आया हूँ। जब तक विनाश की आंधी चली न जाए, मैं तेरे पंखों की छाया में रहूंगा।
वह परमेश्वर के सम्मुख सदा सिंहासन पर रहे। तू अपनी करुणा और सच्चाई को नियुक्त कर कि वे उसकी रक्षा करें।
परमेश्वर पर ही मेरा उद्धार और सम्मान आधारित है, मेरी दृढ़ चट्टान और शरण-स्थल परमेश्वर ही है।
ओ सर्वोच्च प्रभु के आश्रय में रहने वाले, सर्वशक्तिमान परमेश्वर की छाया में निवास करने वाले,
वह तुझे अपने पंखों से घेर लेगा, तू उसके चरणों में शरण पाएगा; उसकी सच्चाई ही ढाल और झिलम हैं।
प्रभु का नाम मानो मजबूत किला है, जिसमें धार्मिक मनुष्य भागकर शरण लेते हैं और सुरक्षित रहते हैं।
“ओ यरूशलेम नगरी! यरूशलेम नगरी! तू नबियों की हत्या करती है और अपने पास भेजे हुए संदेश-वाहकों को पत्थरों से मार डालती है। मैंने कितनी बार चाहा कि तेरी सन्तान को वैसे ही एकत्र कर लूँ, जैसे मुर्गी अपने बच्चों को अपने पंखों के नीचे एकत्र कर लेती है, परन्तु तूने मुझे यह करने नहीं दिया।
वह इन दो अपरिवर्तनीय कार्यों, अर्थात् प्रतिज्ञा और शपथ में, झूठा प्रमाणित नहीं हो सकता। इस से हमें, जिन्होंने परमेश्वर की शरण ली है, यह प्रबल प्रेरणा मिलती है कि हमें जो आशा दिलायी गयी है, हम उसे धारण किये रहें।
“यदि तुम विजय प्राप्त करोगे तो मैं तुम को अपने परमेश्वर के मन्दिर का स्तम्भ बनाऊंगा। वह फिर कभी उसके बाहर नहीं जायेगा। मैं अपने परमेश्वर का नाम, अपने परमेश्वर के नगर, उस नवीन यरूशलेम का नाम, जो मेरे परमेश्वर के यहाँ से स्वर्ग से उतरने वाला है और अपना नया नाम भी उस पर अंकित करूँगा।
प्रभु तुम्हारे कार्य का पुरस्कार तुम्हें दे। इस्राएलियों का प्रभु परमेश्वर, जिसकी छत्रछाया में तुम आई हो, तुम्हें पूर्ण प्रतिफल दे।’