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नीतिवचन 10:19 - पवित्र बाइबिल CL Bible (BSI)

जो मनुष्‍य अधिक बोलता है, वह अपराध करने से बच नहीं सकता; पर अपनी जीभ को वश में रखनेवाला मनुष्‍य बुद्धिमान है!

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पवित्र बाइबल

अधिक बोलने से, कभी पाप नहीं दूर होता किन्तु जो अपनी जुबान को लगाम देता है, वही बुद्धिमान है।

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Hindi Holy Bible

जहां बहुत बातें होती हैं, वहां अपराध भी होता है, परन्तु जो अपने मुंह को बन्द रखता है वह बुद्धि से काम करता है।

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पवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI)

जहाँ बहुत बातें होती हैं, वहाँ अपराध भी होता है, परन्तु जो अपने मुँह को बन्द रखता वह बुद्धि से काम करता है।

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नवीन हिंदी बाइबल

जहाँ बातें बहुत होती हैं, वहाँ पाप भी होता है, परंतु जो अपनी जीभ पर नियंत्रण रखता है, वह बुद्धिमान है।

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सरल हिन्दी बाइबल

जहां अधिक बातें होती हैं, वहां अपराध दूर नहीं रहता, किंतु जो अपने मुख पर नियंत्रण रखता है, वह बुद्धिमान है.

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इंडियन रिवाइज्ड वर्जन (IRV) हिंदी - 2019

जहाँ बहुत बातें होती हैं, वहाँ अपराध भी होता है, परन्तु जो अपने मुँह को बन्द रखता है वह बुद्धि से काम करता है।

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नीतिवचन 10:19
13 क्रॉस रेफरेंस  

‘मित्र, तुमने अपनी निर्दोषता के पक्ष में जो ढेरों बकवास की है, क्‍या उनका उत्तर नहीं देना चाहिए? क्‍या बकवास करनेवाले को निर्दोष मानना चाहिए?


मैंने कहा, “मैं अपने मार्ग की चौकसी करूंगा, जिससे मैं अपनी जीभ के कारण पाप न करूँ। जब तक दुर्जन मेरे सामने हैं, मैं अपने मुंह में लगाम दूंगा।”


जो मनुष्‍य अपने पड़ोसी को तुच्‍छ समझता है, वह नासमझ है; पर समझदार व्यक्‍ति अपनी वाणी पर संयम रखता है!


जो चुगलखोर इधर-उधर चुगली खाता है, वह भेद की बात को पचा नहीं सकता; परन्‍तु जो मनुष्‍य हृदय से विश्‍वासयोग्‍य है, वह भेद की बात को छिपा कर रखता है।


चतुर मनुष्‍य अपना ज्ञान छिपाकर रखता है; पर मूर्ख अपनी मूर्खता का प्रदर्शन करता है।


जीभ के वश में मनुष्‍य का जीवन और मृत्‍यु दोनों हैं; और जो मनुष्‍य अपनी जीभ का प्रयोग जानता है उसको उचित फल प्राप्‍त होता है।


जब तुम परमेश्‍वर के मन्‍दिर में जाते हो तब अपने आचरण का ध्‍यान रखो। मूर्ख द्वारा चढ़ाई गई बलि की अपेक्षा परमेश्‍वर के मन्‍दिर में आना, और उसका वचन सुनना श्रेष्‍ठ है। क्‍योंकि मूर्ख यह नहीं जानता है कि जो कार्य वह करता है, वह दुष्‍कर्म है।


अपने मुंह से कोई बात जल्‍दी मत निकालो, और न उतावली में अपने हृदय की बात परमेश्‍वर के सम्‍मुख प्रकट करो, क्‍योंकि परमेश्‍वर तो स्‍वर्ग में है, और तुम पृथ्‍वी पर। अत: तुम्‍हारे शब्‍द थोड़े ही हों।


जैसे कार्य की अधिकता के कारण व्यक्‍ति स्‍वप्‍न देखता है, वैसे ही बहुत बकवास से मूर्ख की मूर्खता प्रकट होती है।


मेरे प्रिय भाइयो और बहिनो! आप यह अच्‍छी तरह समझ लें। प्रत्‍येक व्यक्‍ति सुनने के लिए तत्‍पर रहे, किन्‍तु बोलने और क्रोध करने में देर करे;


हम सब बारम्‍बार गलत काम करते हैं। जो कभी गलत बात नहीं कहता, वह पहुँचा हुआ मनुष्‍य है और वह अपने पूर्ण शरीर को नियंत्रण में रख सकता है।