अय्यूब 11:2 - पवित्र बाइबिल CL Bible (BSI) ‘मित्र, तुमने अपनी निर्दोषता के पक्ष में जो ढेरों बकवास की है, क्या उनका उत्तर नहीं देना चाहिए? क्या बकवास करनेवाले को निर्दोष मानना चाहिए? पवित्र बाइबल “इस शब्दों के प्रवाह का उत्तर देना चाहिये। क्या यह सब कहना अय्यूब को निर्दोंष ठहराता है? नहीं! Hindi Holy Bible बहुत सी बातें जो कही गई हैं, क्या उनका उत्तर देना न चाहिये? क्या बकवादी मनुष्य धमीं ठहराया जाए? पवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI) “बहुत सी बातें जो कही गई हैं, क्या उनका उत्तर देना न चाहिये? क्या बकवादी मनुष्य धर्मी ठहराया जाए? सरल हिन्दी बाइबल “क्या मेरे इतने सारे शब्दों का उत्तर नहीं मिलेगा? क्या कोई वाचाल व्यक्ति दोष मुक्त माना जाएगा? इंडियन रिवाइज्ड वर्जन (IRV) हिंदी - 2019 “बहुत सी बातें जो कही गई हैं, क्या उनका उत्तर देना न चाहिये? क्या यह बकवादी मनुष्य धर्मी ठहराया जाए? |
‘क्या बुद्धिमान मनुष्य थोथे ज्ञान के बल पर उत्तर देता है? अथवा पूरवी वायु के सदृश निस्सार और हानिकारक तर्क करता है?
क्या थोथी बातों का कभी अन्त होता है? मेरी कौन-सी बात तुम्हें भड़काती है कि तुम मुझे उत्तर दो?
‘मित्र, तुम कब तक ये बातें कहते रहोगे? तुम्हारे मुँह की बातें ऐसी लगती हैं, मानो प्रचण्ड वायु बह रही है!
जो मनुष्य अधिक बोलता है, वह अपराध करने से बच नहीं सकता; पर अपनी जीभ को वश में रखनेवाला मनुष्य बुद्धिमान है!
जब तुम परमेश्वर के मन्दिर में जाते हो तब अपने आचरण का ध्यान रखो। मूर्ख द्वारा चढ़ाई गई बलि की अपेक्षा परमेश्वर के मन्दिर में आना, और उसका वचन सुनना श्रेष्ठ है। क्योंकि मूर्ख यह नहीं जानता है कि जो कार्य वह करता है, वह दुष्कर्म है।
जैसे कार्य की अधिकता के कारण व्यक्ति स्वप्न देखता है, वैसे ही बहुत बकवास से मूर्ख की मूर्खता प्रकट होती है।
वहाँ कुछ एपिकूरी तथा स्तोइकी दार्शनिकों से भी उनका सम्पर्क हुआ। उनमें से कुछ लोगों ने कहा, “यह बकवादी हम से क्या कहना चाहता है?” दूसरों ने कहा, “यह विदेशी देवताओं का प्रचारक जान पड़ता है”, क्योंकि पौलुस येशु तथा “पुनरुत्थान” का शुभ समाचार सुना रहे थे।
मेरे प्रिय भाइयो और बहिनो! आप यह अच्छी तरह समझ लें। प्रत्येक व्यक्ति सुनने के लिए तत्पर रहे, किन्तु बोलने और क्रोध करने में देर करे;