जब समस्त इस्राएल ने देखा कि राजा हमारी नहीं सुनता, तब वे बोले, “दाऊद के साथ हमारा क्या अंश? हमारा तो यिशै के पुत्र में कोई भाग नहीं! हे इस्राएल अपने-अपने डेरे को चले जाओः अब हे दाऊद, अपने ही घराने की चिन्ता कर।”
नीतिवचन 13:10 - इंडियन रिवाइज्ड वर्जन (IRV) हिंदी - 2019 अहंकार से केवल झगड़े होते हैं, परन्तु जो लोग सम्मति मानते हैं, उनके पास बुद्धि रहती है। पवित्र बाइबल अहंकार केवल झगड़ों को पनपाता है किन्तु जो सम्मति की बात मानता है, उनमें ही विवेक पाया जाता है। Hindi Holy Bible झगड़े रगड़े केवल अंहकार ही से होते हैं, परन्तु जो लोग सम्मति मानते हैं, उनके पास बुद्धि रहती है। पवित्र बाइबिल CL Bible (BSI) अविवेकी मनुष्य घमण्ड के कारण लड़ाई-झगड़े मोल लेता है; पर दूसरों की सलाह माननेवाला मनुष्य निस्सन्देह बुद्धिमान है। पवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI) झगड़े रगड़े केवल अहंकार ही से होते हैं, परन्तु जो लोग सम्मति मानते हैं, उनके पास बुद्धि रहती है। नवीन हिंदी बाइबल अहंकार से झगड़े ही उत्पन्न होते हैं; परंतु जो लोग सम्मति को मानते हैं, उनमें बुद्धि होती है। सरल हिन्दी बाइबल अहंकार और कुछ नहीं, कलह को ही जन्म देता है, किंतु वे, जो परामर्श का चालचलन करते हैं, बुद्धिमान प्रमाणित होते हैं. |
जब समस्त इस्राएल ने देखा कि राजा हमारी नहीं सुनता, तब वे बोले, “दाऊद के साथ हमारा क्या अंश? हमारा तो यिशै के पुत्र में कोई भाग नहीं! हे इस्राएल अपने-अपने डेरे को चले जाओः अब हे दाऊद, अपने ही घराने की चिन्ता कर।”
तूने एदोमियों को जीता तो है इसलिए तू फूल उठा है। उसी पर बड़ाई मारता हुआ घर रह जा; तू अपनी हानि के लिये यहाँ क्यों हाथ उठाता है, जिससे तू क्या वरन् यहूदा भी नीचा देखेगा?”
जो अभिमान से रोष में आकर काम करता है, उसका नाम अभिमानी, और अहंकारी ठट्ठा करनेवाला पड़ता है।
जो कुछ तूने देखा है, वह जल्दी से अदालत में न ला, अन्त में जब तेरा पड़ोसी तुझे शर्मिंदा करेगा तो तू क्या करेगा?
तो वह अभिमानी है और कुछ नहीं जानता, वरन् उसे विवाद और शब्दों पर तर्क करने का रोग है, जिनसे डाह, और झगड़े, और निन्दा की बातें, और बुरे-बुरे सन्देह,
तुम में लड़ाइयाँ और झगड़े कहाँ से आते है? क्या उन सुख-विलासों से नहीं जो तुम्हारे अंगों में लड़ते-भिड़ते हैं?
जितनों ने उसे देखा, वे सब आपस में कहने लगे, “इस्राएलियों के मिस्र देश से चले आने के समय से लेकर आज के दिन तक ऐसा कुछ कभी नहीं हुआ, और न देखा गया; अतः इस पर सोचकर सम्मति करो, और बताओ।”