Biblia Todo Logo
ऑनलाइन बाइबिल
- विज्ञापनों -




भजन संहिता 111:10 - पवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI)

10 बुद्धि का मूल यहोवा का भय है; जितने उसकी आज्ञाओं को मानते हैं, उनकी बुद्धि अच्छी होती है। उसकी स्तुति सदा बनी रहेगी।

अध्याय देखें प्रतिलिपि

पवित्र बाइबल

10 विवेक भय और यहोवा के आदर से उपजता है। वे लोग बुद्धिमान होतेहैं जो यहोवा का आदर करते हैं। यहोवा की स्तुति सदा गायी जायेगी।

अध्याय देखें प्रतिलिपि

Hindi Holy Bible

10 बुद्धि का मूल यहोवा का भय है; जितने उसकी आज्ञाओं को मानते हैं, उनकी बुद्धि अच्छी होती है। उसकी स्तुति सदा बनी रहेगी॥

अध्याय देखें प्रतिलिपि

पवित्र बाइबिल CL Bible (BSI)

10 प्रभु की भक्‍ति करना बुद्धि का आरम्‍भ है; जो उसका पालन करते हैं, उनको उत्तम समझ प्राप्‍त होती है। प्रभु की स्‍तुति सदा की जाएगी!

अध्याय देखें प्रतिलिपि

नवीन हिंदी बाइबल

10 यहोवा का भय मानना बुद्धि का मूल है। जो उसकी आज्ञाओं को मानते हैं, उन सब की समझ उत्तम होती है। उसकी स्तुति सदा होती रहेगी।

अध्याय देखें प्रतिलिपि

सरल हिन्दी बाइबल

10 याहवेह के प्रति श्रद्धा बुद्धि का मूल है; उन सभी में, जो इसे मानते हैं, उत्तम समझ रहते है. याहवेह ही हैं सर्वदा वंदना के योग्य.

अध्याय देखें प्रतिलिपि




भजन संहिता 111:10
22 क्रॉस रेफरेंस  

तब उसने मनुष्य से कहा, ‘देख, प्रभु का भय मानना यही बुद्धि है : और बुराई से दूर रहना यही समझ है’।”


वह उस वृक्ष के समान है, जो बहती नालियों के किनारे लगाया गया है, और अपनी ऋतु में फलता है, और जिसके पत्ते कभी मुरझाते नहीं। इसलिये जो कुछ वह पुरुष करे वह सफल होता है।


प्रतिदिन मैं तुझ को धन्य कहा करूँगा, और तेरे नाम की स्तुति सदा सर्वदा करता रहूँगा।


यहोवा का भय मानना बुद्धि का मूल है; बुद्धि और शिक्षा को मूढ़ ही लोग तुच्छ जानते हैं।


तो तू परमेश्‍वर और मनुष्य दोनों का अनुग्रह पाएगा, तू अति बुद्धिमान होगा।


यहोवा का भय मानना बुद्धि का आरम्भ है, और परमपवित्र ईश्‍वर को जानना ही समझ है।


सब कुछ सुना गया; अन्त की बात यह है कि परमेश्‍वर का भय मान और उसकी आज्ञाओं का पालन कर; क्योंकि मनुष्य का सम्पूर्ण कर्तव्य यही है।


बहिरे को शाप न देना, और न अंधे के आगे ठोकर रखना; और अपने परमेश्‍वर का भय मानना; मैं यहोवा हूँ।


उसके स्वामी ने उससे कहा, ‘धन्य, हे अच्छे और विश्‍वासयोग्य दास, तू थोड़े में विश्‍वासयोग्य रहा; मैं तुझे बहुत वस्तुओं का अधिकारी बनाऊँगा। अपने स्वामी के आनन्द में सहभागी हो।’


उसके स्वामी ने उससे कहा, ‘धन्य, हे अच्छे और विश्‍वासयोग्य दास, तू थोड़े में विश्‍वासयोग्य रहा; मैं तुझे बहुत वस्तुओं का अधिकारी बनाऊँगा। अपने स्वामी के आनन्द में सहभागी हो।’


क्योंकि मनुष्यों की ओर से प्रशंसा उनको परमेश्‍वर की ओर से प्रशंसा की अपेक्षा अधिक प्रिय लगती थी।


तुम ये बातें जानते हो, और यदि उन पर चलो तो धन्य हो।


तुम जो एक दूसरे से आदर चाहते हो और वह आदर जो एकमात्र परमेश्‍वर की ओर से है, नहीं चाहते, किस प्रकार विश्‍वास कर सकते हो?


पर यहूदी वही है जो मन में है; और खतना वही है जो हृदय का और आत्मा में है, न कि लेख का : ऐसे की प्रशंसा मनुष्यों की ओर से नहीं, परन्तु परमेश्‍वर की ओर से होती है।


जो सुकर्म में स्थिर रहकर महिमा, और आदर, और अमरता की खोज में हैं, उन्हें वह अनन्त जीवन देगा;


इसलिये जब तक प्रभु न आए, समय से पहले किसी बात का न्याय न करो : वही अन्धकार की छिपी बातें ज्योति में दिखाएगा, और मनों के अभिप्रायों को प्रगट करेगा, तब परमेश्‍वर की ओर से हर एक की प्रशंसा होगी।


क्योंकि हमारा पल भर का हल्का सा क्लेश हमारे लिये बहुत ही महत्वपूर्ण और अनन्त महिमा उत्पन्न करता जाता है;


इसलिये तुम उनको धारण करना और मानना; क्योंकि और देशों के लोगों के सामने तुम्हारी बुद्धि और समझ इसी से प्रगट होगी, अर्थात् वे इन सब विधियों को सुनकर कहेंगे, कि निश्‍चय यह बड़ी जाति बुद्धिमान और समझदार है।


और यह इसलिये है कि तुम्हारा परखा हुआ विश्‍वास, जो आग से ताए हुए नाशवान् सोने से भी कहीं अधिक बहुमूल्य है, यीशु मसीह के प्रगट होने पर प्रशंसा और महिमा और आदर का कारण ठहरे।


“धन्य वे हैं, जो अपने वस्त्र धो लेते हैं, क्योंकि उन्हें जीवन के वृक्ष के पास आने का अधिकार मिलेगा, और वे फाटकों से होकर नगर में प्रवेश करेंगे।


हमारे पर का पालन करें:

विज्ञापनों


विज्ञापनों