यशायाह 64:7 - पवित्र बाइबिल CL Bible (BSI)7 कोई भी मनुष्य तेरा नाम नहीं लेता, और न तेरा सहारा लेने के लिए स्वयं प्रयास करता है। हमारे अधर्म के कारण तूने हमसे अपना मुख छिपा लिया है; और हमें हमारे दुष्कर्मों के हाथ में सौंप दिया है। अध्याय देखेंपवित्र बाइबल7 हम तेरी उपासना नहीं करते हैं। हम को तेरे नाम में विश्वास नहीं है। हम में से कोई तेरा अनुसरण करने को उत्साही नहीं है। इसलिये तूने हमसे मुख मोड़ लिया है। क्योंकि हम पाप से भरे हैं इसलिये तेरे सामने हम असमर्थ हैं। अध्याय देखेंHindi Holy Bible7 कोई भी तुझ से प्रार्थना नहीं करता, न कोई तुझ से सहायता लेने के लिये चौकसी करता है कि तुझ से लिपटा रहे; क्योंकि हमारे अधर्म के कामों के कारण तू ने हम से अपना मुंह छिपा लिया है, और हमें हमारी बुराइयों के वश में छोड़ दिया है॥ अध्याय देखेंपवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI)7 कोई भी तुझ से प्रार्थना नहीं करता, न कोई तुझ से सहायता लेने के लिये चौकसी करता है कि तुझ से लिपटा रहे; क्योंकि हमारे अधर्म के कामों के कारण तू ने हम से अपना मुँह छिपा लिया है, और हमें हमारी बुराइयों के वश में छोड़ दिया है। अध्याय देखेंसरल हिन्दी बाइबल7 ऐसा कोई भी नहीं जो आपके नाम की दोहाई देता है और जो आपको थामे रहने का प्रयास यत्न से करता है; क्योंकि आपने हमसे अपना मुंह छिपा लिया है तथा हमें हमारी बुराइयों के हाथ कर दिया है. अध्याय देखेंइंडियन रिवाइज्ड वर्जन (IRV) हिंदी - 20197 कोई भी तुझ से प्रार्थना नहीं करता, न कोई तुझ से सहायता लेने के लिये चौकसी करता है कि तुझ से लिपटा रहे; क्योंकि हमारे अधर्म के कामों के कारण तूने हम से अपना मुँह छिपा लिया है, और हमें हमारी बुराइयों के वश में छोड़ दिया है। अध्याय देखें |
क्या कारण है कि जब मैं आया तब वहां कोई मनुष्य नहीं था? जब मैं ने पुकारा तब क्यों मुझे उत्तर देनेवाला वहाँ नहीं था? क्या मेरा हाथ इतना छोटा हो गया कि वह छुड़ा नहीं सकता? क्या मुझ में उद्धार करने की शक्ति नहीं रही? देखो, मैं अपनी डांट से समुद्र को सुखा देता हूं, मैं नदियों को मरुस्थल बना देता हूं। उनकी मछलियाँ जल के अभाव में प्यास से तड़प कर मर जाती हैं, और बसाती हैं।
प्रभु कहता है, ‘पुत्र अपने पिता का आदर करता है, सेवक अपने स्वामी से डरता है। यदि मैं तुम्हारा पिता हूं तो कहां है मेरा आदर? यदि मैं तुम्हारा स्वामी हूं तो तुम मुझसे डरते क्यों नहीं हो? मैं, स्वर्गिक सेनाओं का प्रभु तुमसे यों कहता हूं। ओ पुरोहितो, मेरे नाम को अपमानित करने वालो! तुम कहते हो, “हमने तेरे नाम का अपमान कैसे किया?”