हम यह भी प्रतिज्ञा करते हैं कि अपने गूंधे हुए आटे का प्रथम अंश, अपनी भेंटें, प्रत्येक वृक्ष का प्रथम फल, अंगूर-रस और तेल का प्रथम भाग, अपने परमेश्वर के भवन के कक्षों में पुरोहितों को देंगे। हम अपने खेतों की फसल का दशमांश उपपुरोहित को देंगे; क्योंकि उपपुरोहित ही हमारे सब नगरों में यह दशमांश एकत्र करते हैं।
अत: रसोइए ने बलि-पशु की जांघ और उसकी पूंछ ली, और उनको शाऊल के सामने परोस दिया। शमूएल ने शाऊल से कहा, ‘यह अलग रखा हुआ मांस तुम्हारे सामने परोस दिया गया। अब खाओ! यह निर्धारित समय तक तुम्हारे लिए ही रखा था। मैंने लोगों को आमन्त्रित किया है कि तुम उनके साथ खाओ।’ अत: शाऊल ने उस दिन शमूएल के साथ भोजन किया।