अय्याह की पुत्री रिस्पाह ने मृत्यु-शोक प्रकट करने के लिए टाट का वस्त्र लिया और उसको एक चट्टान पर फैला दिया। वह फसल के आरम्भ से तब तक शवों के पास बैठी रही जब तक आकाश से उन पर वर्षा नहीं हुई। उसने दिन के समय शवों पर आकाश के पक्षियों को बैठने नहीं दिया। वह रात के समय जंगल के जानवरों को उनके पास फटकने नहीं देती थी।
और उनको शाऊल और योनातन की अस्थियों के साथ बिन्यामिन-कुल के क्षेत्र में स्थित सेला नगर में, शाऊल के पिता कीश की कबर में गाड़ दिया। राजा दाऊद के आदेश के अनुसार सब कार्य किया गया। तत्पश्चात् परमेश्वर ने देश के लिए की गई प्रार्थना सुनी।
अत: यहूदा और बिन्यामिन कुलों के सब पुरुष तीन दिन की अवधि में यरूशलेम में एकत्र हो गए। यह नौवां महीना और महीने की बीसवीं तारीख थी। सब लोग परमेश्वर के भवन के सामने चौक में बैठे हुए थे। घनघोर वर्षा हो रही थी। प्रस्तुत मामले के डर के कारण तथा मूसलाधार वर्षा के कारण सब कांप रहे थे।
‘ओ सियोन के निवासियो, प्रसन्न हो; अपने प्रभु परमेश्वर में आनन्द मनाओ। मैंने धार्मिकता के लिए तुम्हें एक गुरु प्रदान किया है। फिर, मैंने तुम्हारे लिए अपार वर्षा की है। पहले के समान मैंने शरदकालीन और वसंतकालीन वर्षा की है।