उस समय, सात सात स्त्रियाँ एक पुरुष को दबोच लेंगी और उससे कहेंगी, “अपने खाने के लिये हम, अपनी रोटियों का जुगाड़ स्वयं कर लेंगी, अपने पहनने के लिए कपड़े हम स्वयं बनायेंगी। बस तू हमसे विवाह कर ले! ये सब काम हमारे लिए हम खुद ही कर लेंगी। बस तू हमें अपना नाम दे। कृपा कर के हमारी शर्म पर पर्दा डाल दे।”