यशायाह 48:1पवित्र बाइबलयहोवा कहता है, “याकूब के परिवार, तू मेरी बात सुन। तुम लोग अपने आप को ‘इस्राएल’ कहा करते हो। तुम यहूदा के घराने से वचन देने के लिये यहोवा का नाम लेते हो। तुम इस्राएल के परमेश्वर की प्रशंसा करते हो। किन्तु जब तुम ये बातें करते हो तो सच्चे नहीं होते हो और निष्ठावान नहीं रहते। अध्याय देखें |
अब लोग धरती से आशीषें माँगतें हैं किन्तु आगे आनेवाले दिनों में वे विश्वासयोग्य परमेश्वर से आशीष माँगा करेंगे। अभी लोग उस समय धरती की शक्ति के भरोसे रहा करते हैं जब वे कोई वचन देते हैं। किन्तु भविष्य में वे विश्वसनीय परमेश्वर के भरोसे रहा करेंगे। क्यों क्योंकि पिछले दिनों की सभी विपत्तियाँ भूला दी जायेंगी। मेरे लोग फिर उन पिछली विपत्तियों को याद नहीं करेंगे।
यदि तुम वे काम करोगे तो प्रतिज्ञा करने के लिये मेरे नाम का उपयोग करने योग्य बनोगे, तुम यह कहने योग्य होगे, ‘जैसा कि यहोवा शाश्वत है।’ तुम इन शब्दों का उपयोग सच्चे, ईमानदारी भरे और सही तरीके से करने योग्य बनोगे। यदि तुम ऐसा करोगे तो राष्ट्र यहोवा द्वारा वरदान पाएगा और वे यहोवा द्वारा किये गए कामों को गर्व से बखान करेंगे।”
किन्तु मिस्र में रहने वाले सभी लोगों यहोवा के सन्देश को सुनो: मैंने अपने बड़े नाम का उपयोग करते हुए यह प्रतिज्ञा की है: ‘मैं प्रतिज्ञा करता हूँ कि अब मिस्र में रहने वाला यहूदा का कोई भी व्यक्ति प्रतिज्ञा करने के लिये मेरे नाम का उपयोग कभी नहीं कर पायेगा। वे फिर कभी नहीं कहेंगे, “जैसा कि यहोवा शाश्वत है।”
तब मैं तुम्हारे पास आऊँगा और तब मैं ठीक काम करूगा। मैं उस गवाह की तरह होऊँगा जो लोगों द्वारा किये गये बुरे कामों के बारे में न्यायाधीश से कहता है। कुछ लोग बुरे जादू करते हैं। कुछ लोग बुरे जादू करते हैं। कुछ लोग व्यभिचार का पाप करते हैं। कुछ लोग झूठी प्रतिज्ञायें करते हैं। कुछ लोग अपने मजदूरों को ठगते हैं—वे अपनी वाचा की गई रकम नहीं देते। लोग विधवाओं और अनाथों की सहायता नहीं करते। लोग अजनबियों की सहायता नहीं करते। लोग मेरा सम्मान नहीं करते!” सर्वशक्तिमान यहोवा ने यह सब कहा।