यशायाह 30:29पवित्र बाइबलउस समय, तुम खुशी के गीत गाओगे। वह समय उन रातों के जैसा होगा जब तुम अपने उत्सव मनाना शुरु करते हो। तुम उन व्यक्तियों के समान प्रसन्न होओगे जो इस्राएल की चट्टान यहोवा के पर्वत पर जाते समय बांसुरी को सुनते हुए प्रसन्न होते हैं। अध्याय देखें |
बहुत से लोग वहाँ जाया करेंगे। वे कहा करेंगे, “हमे यहोवा के पर्वत पर जाना चाहिये। हमें याकूब के परमेश्वर के मन्दिर में जाना चाहिये। तभी परमेश्वर हमें अपनी जीवन विधि की शिक्षा देगा और हम उसका अनुसरण करेंगे।” सिय्योन पर्वत पर यरूशलेम में, परमेश्वर यहोवा के उपदेशों का सन्देश का आरम्भ होगा और वहाँ से वह समूचे संसार में फैलेगा।
यहोवा की साँस (आत्मा) एक ऐसी विशाल नदी के समान है जो तब तक चढ़ती रहती है, जब तक वह गले तक नहीं पहुँच जाती। यहोवा सभी राष्ट्रों का न्याय करेगा। यह वैसा ही होगा जैसे वह उन्हें विनाश की छलनी से छान डाले। यहोवा उनका नियन्त्रण करेगा। यह नियन्त्रण वैसा ही होगा, जैसे पशु पर नियन्त्रण पाने के लिए लगाम लगायी जाती है। वह उन्हें उनके विनाश की ओर ले जाएगा।
वहाँ सुख और आनन्द की किलोलें होंगी। वहाँ वर—वधु की उमंग भरी चुहल होगी। वहाँ यहोवा के मन्दिर में अपनी भेंट लाने वाले की मधुर वाणी होगी। वे लोग कहेंगे, सर्वशक्तिमान यहोवा की स्तुति करो! यहोवा दयालु है! यहोवा की दया सदा बनी रहती है! लोग ये बातें कहेंगे क्योंकि मैं फिर यहूदा के लिये अच्छे काम करुँगा। यह वैसा ही होगा जैसा आरम्भ में था।” ये बातें यहोवा ने कही।