“उस समय मनुष्य के पुत्र के आने का संकेत आकाश में प्रकट होगा। तब पृथ्वी पर सभी जातियों के लोग विलाप करेंगे और वे मनुष्य के पुत्र को शक्ति और महिमा के साथ स्वर्ग के बादलों में प्रकट होते देखेंगे।
यीशु ने उत्तर दिया, “हाँ, मैं हूँ। किन्तु मैं तुम्हें बताता हूँ कि तुम मनुष्य के पुत्र को उस परम शक्तिशाली की दाहिनी ओर बैठे और स्वर्ग के बादलों पर आते शीघ्र ही देखोगे।”
वह पुत्र परमेश्वर की महिमा का तेज-मंडल है तथा उसके स्वरूप का यथावत प्रतिनिधि। वह अपने समर्थ वचन के द्वारा सब वस्तुओं की स्थिति बनाये रखता है। सबको पापों से मुक्त करने का विधान करके वह स्वर्ग में उस महामहिम के दाहिने हाथ बैठ गया।
हमारे विश्वास के अगुआ और उसे सम्पूर्ण सिद्ध करने वाले यीशु पर आओ हम दृष्टि लगायें। जिसने अपने सामने उपस्थित आनन्द के लिए क्रूस की यातना झेली, उसकी लज्जा की कोई चिंता नहीं की और परमेश्वर के सिंहासन के दाहिने हाथ विराजमान हो गया।
यह है वह वाचा जिसे मैं इस्राएल के घराने से करूँगा। और फिर उसके बाद प्रभु घोषित करता है। उनके मनों में अपनी व्यवस्था बसाऊँगा, उनके हृदयों पर मैं उसको लिख दूँगा। मैं उनका परमेश्वर बनूँगा, और वे मेरे जन होंगे।
जब हमारे प्रभु यीशु मसीह के समर्थ आगमन के विषय में हमने तुम्हें बताया था, तब चतुरतापूर्वक गढ़ी हुई कहानियों का सहारा नहीं लिया था क्योंकि हम तो उसकी महानता के स्वयं साक्षी हैं।
देखो, मेघों के साथ मसीह आ रहा है। हर एक आँख उसका दर्शन करेगी। उनमें वे भी होंगे, जिन्होंने उसे बेधा था। तथा धरती के सभी लोग उसके कारण विलाप करेंगे। हाँ! हाँ निश्चयपूर्वक ऐसा ही हो-आमीन!