हे पुण्य के द्वारों तुम मेरे लिये खुल जाओ ताकि मैं भीतर आ पाऊँ और यहोवा की आराधना करूँ।
धन्यवाद के गीत संग लिये यहोवा के नगर में आओ, गुणगान के गीत संग लिये यहोवा के मन्दिर में आओ। उसका आदर करो और नाम धन्य करो।
परमेश्वर अपने पवित्र मन्दिर में, पिता के समान अनाथों का और विधवाओं का ध्यान रखता है।
आओ हम यहोवा के लिये धन्यवाद के गीत गाएं। आओ हम उसके प्रशंसा के गीत आनन्दपूर्वक गायें।
उसके द्वारों को खोलो ताकि भले लोग उसमें प्रवेश करें। वे लोग परमेश्वर के जीवन की खरी राह का पालन करते हैं।
इसलिए मैं कहता हूँ: “यहोवा ने मुझ को बचाया है सो हम अपने जीवन भर यहोवा के मन्दिर में गीत गायेंगे और बाजे बजायेंगे।”
किन्तु हिजकिय्याह ने यशायाह से पूछा, “यहोवा की ओर से ऐसा कौन सा संकेत है जो प्रमाणित करता है कि मैं अच्छा हो जाऊँगा कौन सा ऐसा संकेत है जो प्रमाणित करता है कि मैं यहोवा के मन्दिर में जाने योग्य हो जाऊँगा”
“धन्य हैं वह जो अपने वस्त्रों को धो लेते हैं। उन्हें जीवन-वृक्ष के फल खाने का अधिकार होगा। वे द्वार से होकर नगर में प्रवेश करने के अधिकारी होंगे।