विश्वास का अर्थ है, जिसकी हम आशा करते हैं, उसके लिए निश्चित होना। और विश्वास का अर्थ है कि हम चाहे किसी वस्तु को देख नहीं रहे हो किन्तु उसके अस्तित्त्व के विषय में निश्चित होना कि वह है।
जब हमारे प्रभु यीशु मसीह के समर्थ आगमन के विषय में हमने तुम्हें बताया था, तब चतुरतापूर्वक गढ़ी हुई कहानियों का सहारा नहीं लिया था क्योंकि हम तो उसकी महानता के स्वयं साक्षी हैं।