याकूब ने कहा, “देखो, अभी दिन है और सूरज डूबने में अभी काफी देर है। रात के लिए जानवरों को इकट्ठे करने का अभी समय नहीं है। इसलिए उन्हें पानी दो और उन्हें मैदान में लौट जाने दो।”
यूसुफ के पिता ने कहा, “जाओ और देखो कि तुम्हारे भाई सुरक्षित हैं। लौटकर आओ और बताओ कि क्या मेरी भेड़ें ठीक हैं?” इस प्रकार यूसुफ के पिता ने उसे हेब्रोन की घाटी से शकेम को भेजा।
इसलिए मूसा अपने ससुर से मिलने गया। मूसा उसके सामने झुका और उसे चूमा। दोनों लोगों ने एक दूसरे का कुशल क्षेम पूछा। तब वे मूसा के डेरे में और अधिक बातें करने गए।
द्यान में एक याजक था जिसकी सात पुत्रियाँ थीं। एक दिन उसकी पुत्रियाँ अपने पिता की भेड़ों के लिए पानी लेने उसी कुएँ पर गईं। वे कठौती को पानी से भरने का प्रयत्न कर रही थीं।
दाऊद ने भोजन और चीजों को उस व्यक्ति के पास छोड़ा जो सामग्री का वितरण करता था। दाऊद दौड़ कर उस स्थान पर पहुँचा जहाँ इस्राएली सैनिक थे। दाऊद ने अपने भाईयों के विषय में पूछा।