पलिश्तियों ने पवित्र सन्दूक को अपने देश में सात महीने रखा।
फिर परमेश्वर ने उसके निज लोगों को दूसरी जातियों को बंदी बनाने दिया। परमेश्वर के “सुन्दर रत्न” को शत्रुओं ने छीन लिया।
पलिश्तियों ने परमेश्वर का पवित्र सन्दूक एबनेजेर से उसे असदोद ले गए।
बहुत से लोग मर गए और जो लोग नहीं मरे उनको फोड़े निकले। एक्रोन के लोगों ने जोर से रोकर स्वर्ग को पुकारा।
अशदोदी के लोग अगली सुबह उठे। उन्होंने देखा कि दागोन मुँह के बल पड़ा है। दागोन यहोवा की सन्दूक के सामने गिरा पड़ा था। अशदोद के लोगों ने दागोन की मूर्ति को उसके पूर्व—स्थान पर रखा।
पलिश्तियों ने अपने याजक और जादूगरों को बुलाया। पलिश्तियों ने कहा, “हम यहोवा के सन्दूक का क्या करें? बताओ कि हम कैसे सन्दूक को वापस इसके घर भेजें?”