जब सुलैमान बूढ़ा हुआ तो उसकी पत्नियों ने उससे अन्य देवताओं का अनुसरण कराया। सुलैमान ने उसी प्रकार पूरी तरह यहोवा का अनुसरण नहीं किया जिस प्रकार उसके पिता दाऊद ने किया था।
यहोशापात अच्छा व्यक्ति था। उसने अपने पूर्व अपने पिता के जैसे ही काम किये। वह उन सबका पालन करता था जो यहोवा चाहता था। किन्तु यहोशापात ने उच्च स्थानों को नष्ट नहीं किया। लोगों ने उन स्थानों पर बलि—भेंट करना और सुगन्धि जलाना जारी रखा।
सुलैमान ने दिखाया कि वह यहोवा से प्रेम करता है। उसके अपने पिता दाऊद ने जो कुछ करने को कहा था, उसने उन सब का पालन किया किन्तु सुलैमान ने कुछ ऐसा भी किया जिसे करने के लिये दाऊद ने नहीं कहा था। सुलैमान अभी तक उच्चस्थानों का उपयोग बलिभेंट और सुगन्धि जलाने के लिये करता रहा।
ऐ लोगो, तुम्हें यहोवा, हमारे परमेश्वर का भक्त और उसके प्रति सच्चा होना चाहिये। तुम्हें उसके सभी नियमों और आदेशों का अनुसरण और पालन करना चाहिये। तुम्हें इस समय की तरह, भविष्य में भी उसकी आज्ञा का पालन करते रहना चाहिये।”
आसा ने उन विचित्र वेदियों को हटा दिया जिनका उपयोग मूर्तियों की पूजा के लिये होता था। आसा ने उच्च स्थानों को हटा दिया और पवित्र पत्थरों को नष्ट कर दिया और आसा ने अशेरा स्तम्भों को तोड़ डाला।
यहोवा की आँखें सारी पृथ्वी पर उन लोगों को देखती फिरती हैं जो उसके प्रति श्रद्धालु हैं जिससे वह उन लोगों को शक्तिशाली बना सके। आसा, तुमने मूर्खतापूर्ण काम किया। इसलिये अब से लेकर आगे तक तुमसे युद्ध होंगे।”