इसलिये सारे दर्शन तुम्हारे लिये एक लपेटी और मुहरबन्द की हुई पुस्तक की बातों के समान हैं, जिसे कोई पढ़े–लिखे मनुष्य को यह कहकर दे, “इसे पढ़”, और वह कहे, “मैं नहीं पढ़ सकता क्योंकि यह मुहरबन्द की हुई है।”
प्रकाशितवाक्य 5:1 - पवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI) जो सिंहासन पर बैठा था, मैं ने उसके दाहिने हाथ में एक पुस्तक देखी जो भीतर और बाहर लिखी हुई थी, और वह सात मुहर लगाकर बन्द की गई थी। पवित्र बाइबल फिर मैंने देखा कि जो सिंहासन पर विराजमान था, उसके दाहिने हाथ में एक लपेटा हुआ पुस्तक अर्थात् एक ऐसी पुस्तक जिसे लिखकर लपेट दिया जाता था। जिस पर दोनों ओर लिखावट थी। तथा उसे सात मुहर लगाकर मुद्रित किया हुआ था। Hindi Holy Bible और जो सिंहासन पर बैठा था, मैं ने उसके दाहिने हाथ में एक पुस्तक देखी, जो भीतर और बाहर लिखी हुई भी, और वह सात मुहर लगा कर बन्द की गई थी। पवित्र बाइबिल CL Bible (BSI) इसके बाद मैंने देखा कि जो सिंहासन पर विराजमान है, उसके दाहिने हाथ में एक लपेटी हुई पुस्तक है, जिस पर दोनों ओर लिखा हुआ है और जिसे सात मोहरें लगा कर बन्द कर दिया गया है। नवीन हिंदी बाइबल तब जो सिंहासन पर विराजमान था, मैंने उसके दाहिने हाथ में एक पुस्तक देखी जिसके भीतर और बाहर लिखा हुआ था, और वह सात मुहरें लगाकर बंद की गई थी। सरल हिन्दी बाइबल जो सिंहासन पर बैठे थे, उनके दाएं हाथ में मैंने एक पुस्तक देखी, जिसके पृष्ठों पर दोनों ओर लिखा हुआ था, तथा जो सात मोहरों द्वारा बंद की हुई थी. इंडियन रिवाइज्ड वर्जन (IRV) हिंदी - 2019 और जो सिंहासन पर बैठा था, मैंने उसके दाहिने हाथ में एक पुस्तक देखी, जो भीतर और बाहर लिखी हुई थी, और वह सात मुहर लगाकर बन्द की गई थी। (यहे. 2:9-10) |
इसलिये सारे दर्शन तुम्हारे लिये एक लपेटी और मुहरबन्द की हुई पुस्तक की बातों के समान हैं, जिसे कोई पढ़े–लिखे मनुष्य को यह कहकर दे, “इसे पढ़”, और वह कहे, “मैं नहीं पढ़ सकता क्योंकि यह मुहरबन्द की हुई है।”
यहोवा की पुस्तक से ढूँढ़कर पढ़ो : इनमें से एक भी बात बिना पूरा हुए न रहेगी; कोई बिना जोड़ा न रहेगा। क्योंकि मैं ने अपने मुँह से यह आज्ञा दी है और उसी की आत्मा ने उन्हें इकट्ठा किया है।
साँझ और सबेरे के विषय में जो कुछ तू ने देखा और सुना है वह सच है; परन्तु जो कुछ तू ने दर्शन में देखा है उसे बन्द रख, क्योंकि वह बहुत दिनों के बाद फलेगा।”
उसके हाथ में एक छोटी सी खुली हुई पुस्तक थी। उसने अपना दाहिना पाँव समुद्र पर और बायाँ पृथ्वी पर रखा,
जो उस पर बैठा है वह यशब और माणिक्य–सा दिखाई पड़ता है, और उस सिंहासन के चारों ओर मरकत–सा एक मेघधुनष दिखाई देता है।
जब वे प्राणी उसकी जो सिंहासन पर बैठा है, और जो युगानुयुग जीवता है, महिमा और आदर और धन्यवाद करेंगे;
फिर मैं ने स्वर्ग में और पृथ्वी पर और पृथ्वी के नीचे और समुद्र की सब सृजी हुई वस्तुओं को, और सब कुछ को जो उनमें हैं, यह कहते सुना, “जो सिंहासन पर बैठा है उसका और मेम्ने का धन्यवाद और आदर और महिमा और राज्य युगानुयुग रहे!”
फिर मैं ने देखा कि मेम्ने ने उन सात मुहरों में से एक को खोला; और उन चारों प्राणियों में से एक का गर्जन का सा शब्द सुना, “आ!”
और पहाड़ों और चट्टानों से कहने लगे, “हम पर गिर पड़ो; और हमें उसके मुँह से जो सिंहासन पर बैठा है, और मेम्ने के प्रकोप से छिपा लो।