“क्या बुद्धिमान को उचित है कि अज्ञानता के साथ उत्तर दे, या अपने अन्त:करण को पूरबी पवन से भरे?
अय्यूब 16:3 - पवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI) क्या व्यर्थ बातों का अन्त कभी होगा? तू कौन सी बात से झिड़ककर उत्तर देता है। पवित्र बाइबल तुम्हारी व्यर्थ की लम्बी बातें कभी समाप्त नहीं होती। तुम क्यों तर्क करते ही रहते हो? Hindi Holy Bible तू कौन सी बात से झिड़ककर उत्तर देता। पवित्र बाइबिल CL Bible (BSI) क्या थोथी बातों का कभी अन्त होता है? मेरी कौन-सी बात तुम्हें भड़काती है कि तुम मुझे उत्तर दो? सरल हिन्दी बाइबल क्या इन खोखले उद्गारों का कोई अंत नहीं है? अथवा किस पीड़ा ने तुमसे ये उत्तर दिलवाए हैं? इंडियन रिवाइज्ड वर्जन (IRV) हिंदी - 2019 क्या व्यर्थ बातों का अन्त कभी होगा? तू कौन सी बात से झिड़ककर ऐसे उत्तर देता है? |
“क्या बुद्धिमान को उचित है कि अज्ञानता के साथ उत्तर दे, या अपने अन्त:करण को पूरबी पवन से भरे?
मैं ने ऐसी चितौनी सुनी जिस से मेरी निन्दा हुई, और मेरी आत्मा अपनी समझ के अनुसार तुझे उत्तर देती है।
देखो, तुम लोग सब के सब उसे स्वयं देख चुके हो, फिर तुम व्यर्थ विचार क्यों पकड़े रहते हो?”
“तू कब तक ऐसी ऐसी बातें करता रहेगा, और तेरे मुँह की बातें कब तक प्रचण्ड वायु सी रहेंगी?
इसके उत्तर में कोई भी एक बात न कह सका। उस दिन से किसी को फिर उससे कुछ पूछने का साहस न हुआ।
इनका मुँह बन्द करना चाहिए। ये लोग नीच कमाई के लिये अनुचित बातें सिखाकर घर के घर बिगाड़ देते हैं।
और ऐसी खराई पाई जाए कि कोई उसे बुरा न कह सके, जिससे विरोधी हम पर कोई दोष लगाने का अवसर न पाकर लज्जित हों।
वह तो प्रति वर्ष ऐसा ही करता था; और जब हन्ना यहोवा के भवन को जाती थी तब पनिन्ना उसको चिढ़ाती थी। इसलिये वह रोती और खाना न खाती थी।