इस प्रकार राजा सुलेमान धन-सम्पत्ति और बुद्धि-विवेक में पृथ्वी के सब राजाओं से श्रेष्ठ था।
सभोपदेशक 2:9 - पवित्र बाइबिल CL Bible (BSI) इस प्रकार मैं यरूशलेम के भूतपूर्व राजाओं से अधिक महान और सम्पत्तिशाली हो गया। तो भी मेरी बुद्धि ने मेरा साथ नहीं छोड़ा। पवित्र बाइबल मैं बहुत धनवान और प्रसिद्ध हो गया। मुझसे पहले यरूशलेम में जो भी कोई रहता था, मैं उससे अधिक महान था। मेरी बुद्धि सदा मेरी सहायता किया करती थी। Hindi Holy Bible इस प्रकार मैं अपने से पहिले के सब यरूशलेमवासियों अधिक महान और धनाढय हो गया; तौभी मेरी बुद्धि ठिकाने रही। पवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI) इस प्रकार मैं अपने से पहले के सब यरूशलेमवासियों से अधिक महान् और धनाढ्य हो गया; तौभी मेरी बुद्धि ठिकाने रही। नवीन हिंदी बाइबल इस प्रकार मैं महान हो गया; और मैं उन सब से अधिक संपन्न हो गया जो मुझसे पहले यरूशलेम में हुए थे। मेरी बुद्धि भी मुझमें बनी रही। सरल हिन्दी बाइबल मैं येरूशलेम में अपने से पहले वालों से बहुत अधिक महान हो गया. मेरी बुद्धि ने हमेशा ही मेरा साथ दिया. इंडियन रिवाइज्ड वर्जन (IRV) हिंदी - 2019 इस प्रकार मैं अपने से पहले के सब यरूशलेमवासियों से अधिक महान और धनाढ्य हो गया; तो भी मेरी बुद्धि ठिकाने रही। |
इस प्रकार राजा सुलेमान धन-सम्पत्ति और बुद्धि-विवेक में पृथ्वी के सब राजाओं से श्रेष्ठ था।
मैंने उन बातों को सुनकर उन पर विश्वास नहीं किया था। पर जब मैं यहाँ आई, और स्वयं अपनी आंखों से देखा तब मुझे विश्वास करना पड़ा। निस्सन्देह आपके और आपकी बुद्धि के विषय में मुझे आधा ही बताया गया था। आपकी बुद्धि, आपका वैभव तो उससे कहीं अधिक है, जितना मैंने सुना था।
इसलिए मैं तेरे निवेदन के अनुसार कार्य करूंगा। देख, मैं तुझे बुद्धि और विवेक से परिपूर्ण हृदय प्रदान करता हूं। तुझसे पहले और तेरे बाद तेरे समान बुद्धिमान राजा कोई नहीं होगा।
प्रभु ने सुलेमान को समस्त इस्राएली राष्ट्र की दृष्टि में महान बनाया। उसे ऐसा राज-वैभव प्रदान किया जैसा इस्राएल देश में उसके पूर्व किसी राजा को नहीं प्राप्त हुआ था।
दाऊद के पुत्र सुलेमान ने अपने राज्य को स्थिर कर लिया। प्रभु परमेश्वर उसके साथ था। प्रभु ने उसको बहुत उन्नत किया।
मैंने अपने हृदय से कहा, ‘देख, तूने बहुत ज्ञान प्राप्त कर लिया है, इतना कि तेरा ज्ञान उन सब राजाओं से बढ़ गया, जो तुझसे पहले यरूशलेम में हुए थे। तुझे बहुत बुद्धि और ज्ञान का अनुभव हो चुका है।”
जब सम्पत्ति बढ़ती है तब उसको खानेवाले भी बढ़ते हैं। अत: उसके स्वामी को उससे क्या लाभ? सिर्फ यह कि वह उसे केवल आंखों से देखे!