मैं तेरे और स्त्री के बीच, तेरे वंश और स्त्री के वंश के मध्य शत्रुता उत्पन्न करूँगा। वह तेरा सिर कुचलेगा, और तू उसकी एड़ी डसेगा।’
लूका 4:2 - पवित्र बाइबिल CL Bible (BSI) जहाँ शैतान चालीस दिन तक उनकी परीक्षा लेता रहा। येशु ने उन दिनों कुछ भी नहीं खाया। जब चालीस दिन बीत गए तब उन्हें बहुत भूख लगी। पवित्र बाइबल वहाँ शैतान ने चालीस दिन तक उसकी परीक्षा ली। उन दिनों यीशु बिना कुछ खाये रहा। फिर जब वह समय पूरा हुआ तो यीशु को बहुत भूख लगी। Hindi Holy Bible उन दिनों में उस ने कुछ न खाया और जब वे दिन पूरे हो गए, तो उसे भूख लगी। पवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI) और शैतान उसकी परीक्षा करता रहा। उन दिनों में उसने कुछ न खाया, और जब वे दिन पूरे हो गए, तो उसे भूख लगी। नवीन हिंदी बाइबल जहाँ शैतान के द्वारा चालीस दिन तक उसकी परीक्षा हुई। उन दिनों में उसने कुछ नहीं खाया और जब वे दिन पूरे हुए तो उसे भूख लगी। सरल हिन्दी बाइबल जहां चालीस दिन तक शैतान उन्हें परीक्षा में डालने का प्रयास करता रहा. इस अवधि में वह पूरी तरह बिना भोजन के रहे, इसके बाद उन्हें भूख लगी. इंडियन रिवाइज्ड वर्जन (IRV) हिंदी - 2019 और चालीस दिन तक शैतान उसकी परीक्षा करता रहा। उन दिनों में उसने कुछ न खाया और जब वे दिन पूरे हो गए, तो उसे भूख लगी। |
मैं तेरे और स्त्री के बीच, तेरे वंश और स्त्री के वंश के मध्य शत्रुता उत्पन्न करूँगा। वह तेरा सिर कुचलेगा, और तू उसकी एड़ी डसेगा।’
अत: एलियाह उठे। उन्होंने खाया-पिया। वह इस भोजन से बल प्राप्त कर चालीस दिन और चालीस रात चलते रहे, और परमेश्वर के पर्वत होरेब पर पहुंचे।
‘जाओ, और शूशन नगर के सब यहूदियों को एकत्र करो, और मेरे लिए सामूहिक उपवास करो। तीन दिन और रात न भोजन करना, और न पानी पीना। तुम्हारे समान मैं भी अपनी सखियों के साथ उपवास करूंगी। तब मैं महाराज के पास जाऊंगी, यद्यपि ऐसा करना नियम के विरुद्ध होगा। यदि मुझे मरना ही पड़ेगा तो मैं मर जाऊंगी।’
मूसा ने मेघ के भीतर प्रवेश किया, और वह पहाड़ पर चढ़े। वह चालीस दिन और चालीस रात पहाड़ पर रहे।
मूसा वहाँ प्रभु के साथ चालीस दिन और चालीस रात रहे। न तो उन्होंने रोटी खाई और न पानी पिया। उन्होंने विधान की बातें, अर्थात् दस आज्ञाएँ पट्टियों पर लिख लीं।
उसने समस्त नीनवे नगर में यह राजाज्ञा प्रचारित की: ‘राजा और मंत्री-मण्डल की ओर से यह आदेश है: मनुष्य और पशु, भेड़-बकरी और गाय-बैल अपने मुंह में अनाज का दाना भी नहीं रखेंगे। वे न भोजन करेंगे और न पानी पियेंगे।
शैतान ने उनसे कहा, “यदि आप परमेश्वर के पुत्र हैं, तो इस पत्थर से कह दीजिए कि यह रोटी बन जाए।”
वहाँ याकूब का कुआँ है। येशु यात्रा से थक गये थे, इसलिए वह कुएँ के पास यों ही बैठ गये। यह लगभग दोपहर का समय था।
मैं पहले के समान चालीस दिन और चालीस रात प्रभु के सम्मुख पड़ा रहा। मैंने न रोटी खाई, और न पानी पिया, क्योंकि जो कार्य प्रभु की दृष्टि में बुरा था, उसको करके तुमने पाप किया था और इस प्रकार तुमने प्रभु को चिढ़ाया था।
‘अत: मैं प्रभु के सम्मुख चालीस दिन और चालीस रात पड़ा रहा, क्योंकि प्रभु ने कहा था कि वह तुम्हें नष्ट कर देगा।
जब मैं पत्थर की पट्टियाँ, उस विधान की पट्टियाँ, जो प्रभु ने तुम्हारे साथ स्थापित किया, ग्रहण करने के लिए पहाड़ पर चढ़ा था, तब मैं चालीस दिन और चालीस रात तक पहाड़ पर रहा। मैंने न रोटी खायी और न पानी पिया।
येशु की परीक्षा ली गयी है और उन्होंने स्वयं दु:ख भोगा है इसलिए वह परीक्षा में पड़े हुए लोगों की सहायता कर सकते हैं।
हमारे महापुरोहित हमारी दुर्बलताओं में हम से सहानुभूति रख सकते हैं, क्योंकि पाप को छोड़ कर सभी बातों में हमारी ही तरह उनकी परीक्षा ली गयी है।
पलिश्ती योद्धा चालीस दिन तक, सबेरे और शाम को, इस्राएली सेना के सम्मुख आता और खड़ा हो जाता था।