वे अपने आप से यह न कह सकें, “अहा! हमारी इच्छा पूर्ण हुई।” वे बोल न पाएं, “हमने उसे निगल लिया।”
यहेजकेल 36:3 - पवित्र बाइबिल CL Bible (BSI) इसलिए ओ मानव, तू इस्राएली राष्ट्र के पहाड़ों से यह नबूवत कह, स्वामी-प्रभु यों कहता है, शत्रुओं ने तुमको उजाड़ा, चारों ओर से तुम्हें रौंदा, और तुम अन्य राष्ट्रों के अधिकार में आ गए। विश्व की कौमें तुम्हारे विषय में बुरी-बुरी बातें कहती हैं, वे तुम्हारी चर्चा करती हैं। पवित्र बाइबल “अत: मेरे लिये इस्राएल के पर्वतों से कहो। कहो कि स्वामी यहोवा यह कहता है, ‘शत्रु ने तुम्हें खाली किया। उन्होंने तुम्हें चारों ओर से कुचल डाला है। उन्होंने ऐसा किया अत: तुम अन्य राष्ट्रों के अधिकार में गए। तब तुम्हारे बारे मे लोगों ने बातें और कानाफूसी की।’” Hindi Holy Bible इस कारण भविष्यद्वाणी कर के कह, परमेश्वर यहोवा यों कहता हे, लोगों ने जो तुम्हें उजाड़ा और चारों ओर से तुम्हें ऐसा निगल लिया कि तुम बची हुई जातियों का अधिकार हो जाओ, और लुतरे तुम्हारी चर्चा करते और साधारण लोग तुम्हारी निन्दा करते हैं; पवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI) इस कारण भविष्यद्वाणी करके कह, परमेश्वर यहोवा यों कहता है : लोगों ने जो तुम्हें उजाड़ा और चारों ओर से तुम्हें ऐसा निगल लिया कि तुम बची हुई जातियों का अधिकार हो जाओ, और लुतरे तुम्हारी चर्चा करते और साधारण लोग तुम्हारी निन्दा करते हैं; सरल हिन्दी बाइबल इसलिये भविष्यवाणी करके कहो, ‘परम प्रधान याहवेह का यह कहना है: क्योंकि उन्होंने तुम्हें सब तरफ लूटा और कुचला जिससे बाकी जातियों के अधिकार में हो गये और जनताओं की ईर्ष्यालु बात और बदनामी के विषय हो गये, इंडियन रिवाइज्ड वर्जन (IRV) हिंदी - 2019 इस कारण भविष्यद्वाणी करके कह, परमेश्वर यहोवा यह कहता है: लोगों ने जो तुम्हें उजाड़ा और चारों ओर से तुम्हें ऐसा निगल लिया कि तुम बची हुई जातियों का अधिकार हो जाओ, और बकवादी तुम्हारी चर्चा करते और साधारण लोग तुम्हारी निन्दा करते हैं; |
वे अपने आप से यह न कह सकें, “अहा! हमारी इच्छा पूर्ण हुई।” वे बोल न पाएं, “हमने उसे निगल लिया।”
क्यों राष्ट्र यह कहें, ‘उनका परमेश्वर कहां है?’ तेरे सेवकों के बहाए गए रक्त का प्रतिशोध हमारी आंखों के सामने, राष्ट्रों पर प्रकट किया जाए।
हम पड़ोसी देशों की निन्दा के पात्र बन गए हैं; हम चारों ओर की कौमों के लिए उपहास और तिरस्कार के पात्र हैं।
आ, हम अधोलोक की तरह, उन्हें जीवित ही निगल जाएं, उनको कबर में जानेवालों के समान पूरा का पूरा खा जाएं।
अत: उन का देश उजाड़ हो गया, उसको देखकर अन्य राष्ट्रों के लोग सदा व्याकुल रहेंगे। उससे गुजरनेवाला राहगीर आश्चर्य करता है, और सिर हिलाता है।
सिंह उसको देखकर गरजे; वे उसको चीरने-फाड़ने के लिए जोरों से दहाड़े। उन्होंने उसके देश को उजाड़ दिया; उसके नगर खण्डहर हो गए; वे निर्जन पड़े हैं।
मैं उनको पृथ्वी के समस्त राज्यों के लिए आतंक का कारण बना दूंगा। मैं उनको जिन-जिन देशों में हांक कर ले जाऊंगा वहां-वहां के लोग उनकी निंदा करेंगे, उनका उपहास करेंगे, उनको ताना मारेंगे और शाप देंगे।
‘यिर्मयाह, क्या तूने ध्यान दिया कि ये लोग मेरे बारे में क्या कह रहे हैं? ये कहते हैं कि प्रभु ने जिन दो परिवारों को चुना था, उनको त्याग दिया है। यों ये मेरे निज लोगों को अपनी दृष्टि में तुच्छ समझने लगे हैं कि अब वे राष्ट्र नहीं रहे; एक कौम के रूप में मेरे निज लोगों का अस्तित्व समाप्त हो गया।
‘बेबीलोन के राजा नबूकदनेस्सर ने मुझे खा लिया; मुझे रौंद डाला! उसने मेरी समस्त धन-सम्पत्ति लूट ली, और मुझे खाली बरतन बना दिया! उसने मुझे मगरमच्छ के समान पूरा निगल लिया! उसने मुझसे अपना पेट भर लिया, मानो मैं स्वादिष्ट भोजन हूं। उसने मुझे अपनी धन-सम्पत्ति से वंचित कर दिया।’
जब सिदकियाह सिंहासन पर बैठा, उस समय वह इक्कीस वर्ष का था। उसने ग्यारह वर्ष तक राज्य किया। उसकी राजधानी यरूशलेम थी। उसकी मां का नाम हमूतल था जो लिब्नाह नगर में रहनेवाले यिर्मयाह की पुत्री थी।
स्वामी ने निर्दयतापूर्वक याकूब राष्ट्र की सब बस्तियों को नष्ट कर दिया; उसने अपने क्रोध से यहूदा की पुत्री के गढ़ों को ध्वस्त कर दिया। उसने राज्य और उसके शासकों को अपमानित कर धूल-धूसरित कर दिया।
स्वामी हमारा शत्रु बन गया; उसने इस्राएल राष्ट्र को नष्ट कर दिया। उसने इस्राएल के सब महलों को ध्वस्त कर दिया, उसके गढ़ों को खण्डहर बना दिया। उसने यहूदा की पुत्री के घर-घर में विलाप और रोना-पीटना मचवा दिया।
तुम्हारे आबाद नगर उजाड़ हो जाएंगे, और सारा देश निर्जन हो जाएगा। तब तुम्हें मालूम होगा कि मैं ही प्रभु हूं।’
ओ झूठे नबियो, तुमने, हां तुमने, मेरे निज लोगों को बहकाया है। तुम कहते हो, “शान्ति है” जबकि कहीं शान्ति है ही नहीं। लोग दीवार खड़ी करते हैं, तो मानो तुम उस पर लीपा-पोती करते हो!
तूने मेरे विरुद्ध अपने मुंह से बड़ी-बड़ी बातें कीं, अपने आप को गर्व से फुलाया। मैंने स्वयं यह सब सुना है।
अत: मैं, स्वामी-प्रभु, इन राष्ट्रों से और एदोम राष्ट्र से अत्यन्त क्रोध में कह रहा हूं: इन्होंने हर्ष-उल्लास से मेरे देश पर अधिकार किया और उसके प्रति घृणा प्रकट करते हुए उसको लूट लिया और उस पर पूर्ण कब्जा कर लिया।
स्वामी, अपने धर्ममय आचरण के अनुरूप अपना क्रोध और प्रकोप यरूशलेम से हटा ले। प्रभु, यरूशलेम नगर तेरा ही पवित्र पहाड़ी नगर है। हमारे पूर्वजों के पापमय और हमारे ही अधर्ममय आचरण के कारण यरूशलेम नगर और तेरे निज लोग आसपास के राष्ट्रों में बदनाम हो गए हैं।
किन्तु पहले भूमि उनके द्वारा निर्जन छोड़ी जाएगी। जब तक भूमि उनके न रहने से निर्जन रहेगी, वह विश्राम वर्षों का आनन्दपूर्वक पालन करेगी। वे अपने अधर्म के दण्ड को स्वीकार करेंगे; क्योंकि उन्होंने मेरे न्याय-सिद्धान्तों की अवहेलना की है, उनके प्राणों ने मेरी संविधियों से घृणा की है।
जब मेरे निज लोग संकट में थे, उस दिन तुझे उनके नगर में प्रवेश नहीं करना था। उनके विपत्ति के दिन तुझे उनकी ओर केवल ताकना नहीं था। जब उन पर विपत्ति आई थी, तब तुझे उनकी धन-सम्पत्ति लूटनी नहीं थी।
वे हमारी निन्दा करते हैं और हम नम्रतापूर्वक अनुनय-विनय करते हैं। लोग अब भी हमारे साथ ऐसा व्यवहार करते हैं, मानो हम पृथ्वी के कचरे और समाज के कूड़ा-करकट हों।