मैंने तेरी सािक्षयां सदा के लिए उत्तराधिकार में ग्रहण की हैं; वे मेरे हृदय का हर्ष हैं।
प्रेरितों के काम 8:28 - पवित्र बाइबिल CL Bible (BSI) और अब लौट रहा था। वह अपने रथ पर बैठा हुआ नबी यशायाह का ग्रन्थ पढ़ रहा था। पवित्र बाइबल लौटते हुए वह अपने रथ में बैठा भविष्यवक्ता यशायाह का ग्रंथ पढ़ रहा था। Hindi Holy Bible और वह अपने रथ पर बैठा हुआ था, और यशायाह भविष्यद्वक्ता की पुस्तक पढ़ता हुआ लौटा जा रहा था। पवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI) वह अपने रथ पर बैठा हुआ था, और यशायाह भविष्यद्वक्ता की पुस्तक पढ़ता हुआ लौटा जा रहा था। नवीन हिंदी बाइबल वह अपने रथ में बैठा हुआ लौट रहा था और यशायाह भविष्यवक्ता की पुस्तक पढ़ रहा था। सरल हिन्दी बाइबल वह स्वदेश लौटते समय अपने रथ में बैठे हुए भविष्यवक्ता यशायाह का लेख पढ़ रहा था. इंडियन रिवाइज्ड वर्जन (IRV) हिंदी - 2019 और वह अपने रथ पर बैठा हुआ था, और यशायाह भविष्यद्वक्ता की पुस्तक पढ़ता हुआ लौटा जा रहा था। |
मैंने तेरी सािक्षयां सदा के लिए उत्तराधिकार में ग्रहण की हैं; वे मेरे हृदय का हर्ष हैं।
मेरे सब शिक्षकों की अपेक्षा मुझ में अधिक समझ है; क्योंकि तेरी सािक्षयां मेरा दैनिक पाठ हैं।
यशायाह बेन-आमोत्स का दर्शन : यह यहूदा प्रदेश तथा यरूशलेम नगर के सम्बन्ध में था। ये दर्शन यशायाह ने यहूदा प्रदेश के राजाओं उज्जियाह, योताम, आहाज और हिजकियाह के राज्य-काल में देखे थे।
जैसा कि नबी यशायाह के संदेशों की पुस्तक में लिखा है : “निर्जन प्रदेश में पुकारने वाले की आवाज : प्रभु का मार्ग तैयार करो; उसके पथ सीधे कर दो।
तो उन्हें नबी यशायाह की पुस्तक दी गयी। पुस्तक खोल कर येशु ने वह स्थल निकाला, “जहाँ लिखा है :
जब वे आपस में सहमत नहीं हुए और विदा होने लगे, तो पौलुस ने उन से यह एक बात कही, “पवित्र आत्मा ने नबी यशायाह के मुख से आप लोगों के पूर्वजों से ठीक ही कहा है,
वह उठ कर चल पड़ा। उस समय इथियोपिया देश का एक ख़ोजा इथियोपियाई महारानी कन्दाके का उच्चाधिकारी तथा कोषाध्यक्ष था। वह आराधना के लिए यरूशलेम आया था,
मसीह का वचन अपनी परिपूर्णता में आप लोगों में निवास करे। आप बड़ी समझदारी से एक-दूसरे को शिक्षा और उपदेश दिया करें। आप कृतज्ञ हृदय से परमेश्वर के आदर में भजन, स्तोत्र और आध्यात्मिक गीत गाया करें।
इस व्यवस्था-ग्रन्थ के शब्द तेरे मुंह से कभी अलग न हों। तू रात-दिन उसका पाठ करना, ताकि तू उसमें लिखी हुई सब बातों का पालन कर सके और उनके अनुसार कार्य कर सके। तब तू अपने मार्ग पर उन्नति करेगा, तू अपने कार्य में सफल होगा।