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उत्पत्ति 5:1 - पवित्र बाइबल

यह अध्याय आदम के परिवार के बारे में है। परमेश्वर ने मनुष्य को अपने स्वरूप में बनाया।

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Hindi Holy Bible

आदम की वंशावली यह है। जब परमेश्वर ने मनुष्य की सृष्टि की तब अपने ही स्वरूप में उसको बनाया;

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पवित्र बाइबिल CL Bible (BSI)

आदम की वंशावली का विवरण इस प्रकार है: जब परमेश्‍वर ने मनुष्‍य को रचा, तब उसने उसे अपने सदृश बनाया।

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पवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI)

आदम की वंशावली यह है। जब परमेश्‍वर ने मनुष्य की सृष्‍टि की तब अपने ही स्वरूप में उसको बनाया।

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नवीन हिंदी बाइबल

यह आदम की वंशावली है। जब परमेश्‍वर ने मनुष्य की सृष्‍टि की तब उसने उसे अपने ही स्वरूप में रचा।

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सरल हिन्दी बाइबल

यह आदम के वंशजों का प्रलेख है: जब परमेश्वर ने मनुष्य की सृष्टि की, तो उन्होंने मनुष्य को अपने ही रूप में बनाया.

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इंडियन रिवाइज्ड वर्जन (IRV) हिंदी - 2019

आदम की वंशावली यह है। जब परमेश्वर ने मनुष्य की सृष्टि की तब अपने ही स्वरूप में उसको बनाया। (मत्ती 1:1, 1 कुरि. 11:7)

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उत्पत्ति 5:1
15 क्रॉस रेफरेंस  

नूह के पुत्र शेम, हाम, और येपेत थे। बाढ़ के बाद ये तीनों बहुत से पुत्रों के पिता हुए। यहाँ शेम, हाम और येपेत से पैदा होने वाले पुत्रों की सूची दी जा रही है:


यह पृथ्वी और आकाश का इतिहास है। यह कथा उन चीज़ों की है, जो परमेश्वर द्वारा पृथ्वी और आकाश बनाते समय, घटित हुईं।


यह कहानी नूह के परिवार की है। अपने पूरे जीवन में नूह ने सदैव परमेश्वर का अनुसरण किया।


आदम, शेत, एनोश, केनान, महललेल, येरेद, हलोक, मतूशेलह, लेमेक, नूह।


बचपन से ही अपने बनाने वाले का स्मरण करो। इससे पहले कि बुढ़ापे के बुरे दिन तुम्हें आ घेरें। पहले इसके कि तुम्हें यह कहना पड़े कि “हाय, में जीवन का रस नहीं ले सका।”


“एक बात और जो मुझे पता चली है। परमेश्वर ने तो लोगों को नेक ही बनाया था किन्तु लोगों ने बुराई के अनेकों रास्ते ढूँढ लिये।”


इब्राहीम के वंशज दाऊद के पुत्र यीशु मसीह की वंशावली इस प्रकार है:


किन्तु पुरुष के लिये अपना सिर ढकना उचित नहीं है क्योंकि वह परमेश्वर के स्वरूप और महिमा का प्रतिबिम्ब है। किन्तु एक स्त्री अपने पुरुष की महिमा को प्रतिबिंबित करती है।


सो हम सभी अपने खुले मुख के साथ दर्पण में प्रभु के तेज का जब ध्यान करते हैं तो हम भी वैसे ही होने लगते हैं और हमारा तेज अधिकाधिक बढ़ने लगता है। यह तेज उस प्रभु से ही प्राप्त होता है। यानी आत्मा से।


और तुम उस नये स्वरूप को धारण कर सको जो परमेश्वर के अनुरूप सचमुच धार्मिक और पवित्र बनने के लिए रचा गया है।


और नये व्यक्तित्व को धारण कर लिया है जो अपने रचयिता के स्वरूप में स्थित होकर परमेश्वर के सम्पूर्ण ज्ञान के निमित्त निरन्तर नया होता जा रहा है।


वह पुत्र परमेश्वर की महिमा का तेज-मंडल है तथा उसके स्वरूप का यथावत प्रतिनिधि। वह अपने समर्थ वचन के द्वारा सब वस्तुओं की स्थिति बनाये रखता है। सबको पापों से मुक्त करने का विधान करके वह स्वर्ग में उस महामहिम के दाहिने हाथ बैठ गया।


और फिर यह भी कि इन सब को वे पिता भी जिन्होंने हमारे शरीर को जन्म दिया है, हमें ताड़ना देते हैं। और इसके लिए हम उन्हें मान देते हैं तो फिर हमें अपनी आत्माओं के पिता के अनुशासन के तो कितना अधिक अधीन रहते हुए जीना चाहिए।