लोगों ने कहा, “हम लोगों को ईंटें बनाना और उन्हें आग में तपाना चाहिए, ताकि वे कठोर हो जाएं।” इसलिए लोगों ने अपने घर बनाने के लिए पत्थरों के स्थान पर ईंटों का प्रयोग किया और लोगों ने गारे के स्थान पर राल का प्रयोग किया।
2 राजाओं 5:5 - पवित्र बाइबल तब अराम के राजा ने कहा, “अभी जाओ और मैं एक पत्र इस्राएल के राजा के नाम भेजूँगा।” अतः नामान इस्राएल गया। नामान अपने साथ कुछ भेंट ले गया। नामान साढ़े सात सौ पौंड चाँदी, छः हज़ार स्वर्ण मुद्राएं, और दस बार बदलने के वस्त्र ले गया। Hindi Holy Bible अराम के राजा ने कहा, तू जा, मैं इस्राएल के राजा के पास एक पत्र भेजूंगा; तब वह दस किक्कार चान्दी और छ:हजार टुकड़े सोना, और दस जोड़े कपड़े साथ ले कर रवाना हो गया। पवित्र बाइबिल CL Bible (BSI) सीरिया देश के राजा ने कहा, ‘तुम अभी चले जाओ। मैं इस्राएल प्रदेश के राजा को एक पत्र भेज दूंगा’। अत: नामान ने प्रस्थान किया। वह अपने साथ लगभग तीन सौ पचास किलो चांदी, सत्तर किलो सोना और दस जोड़ी राजसी वस्त्र ले गया। पवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI) अराम के राजा ने कहा, “तू जा, मैं इस्राएल के राजा के पास एक पत्र भेजूँगा।” तब वह दस किक्कार चाँदी और छ: हज़ार टुकड़े सोना, और दस जोड़े कपड़े साथ लेकर रवाना हो गया। सरल हिन्दी बाइबल अराम के राजा ने नामान से कहा, “तुम इसी समय वहां चले जाओ. मैं तुम्हें इस्राएल के राजा के लिए एक पत्र दिए देता हूं.” तब नामान ने प्रस्थान किया. उसने अपने साथ भेंट में देने के लिए लगभग साढ़े तीन सौ किलो चांदी, सत्तर किलो सोना और दस जोड़ी कीमती वस्त्र रख लिए थे. इंडियन रिवाइज्ड वर्जन (IRV) हिंदी - 2019 अराम के राजा ने कहा, “तू जा, मैं इस्राएल के राजा के पास एक पत्र भेजूँगा।” तब वह दस किक्कार चाँदी और छः हजार टुकड़े सोना, और दस जोड़े कपड़े साथ लेकर रवाना हो गया। |
लोगों ने कहा, “हम लोगों को ईंटें बनाना और उन्हें आग में तपाना चाहिए, ताकि वे कठोर हो जाएं।” इसलिए लोगों ने अपने घर बनाने के लिए पत्थरों के स्थान पर ईंटों का प्रयोग किया और लोगों ने गारे के स्थान पर राल का प्रयोग किया।
इसलिए आओ हम नीचे चले और इनकी भाषा को गड़बड़ कर दें। तब ये एक दूसरे की बात नहीं समझेंगे।”
यूसुफ ने हर एक भाई को एक एक जोड़ा सुन्दर वस्त्र दिया। किन्तु यूसुफ ने बिन्यामीन को पाँच जोड़े सुन्दर वस्त्र दिए और यूसुफ ने बिन्यामीन को तीन सौ चाँदी के सिक्के भी दिए।
तब राजा ने परमेश्वर के व्यक्ति से कहा, “कृपया मेरे साथ घर चलें। आएं और मेरे साथ भोजन करें मैं आपको एक भेंट दूँगा।”
इस समय अहाब ने अपने अधिकारियों से पूछा, “तुम जानते हो कि अराम के राजा ने गिलाद में रामोत को हम से ले लिया था। हम लोगों ने रामोत वापस लेने का कुछ भी प्रयत्न क्यों नहीं किया यह हम लोगों का नगर होना चाहिये।”
एक व्यक्ति बालशालीशा से आया और पहली फसल से परमेश्वर के जन (एलीशा) के लिये रोटी लाया। यह व्यक्ति बीस जौ की रोटियाँ और नया अन्न अपनी बोरी में लाया। तब एलीशा ने कहा, “यह भोजन लोगों को दो, जिसे वे खा सकें।”
नामान अपने स्वामी (अराम के राजा) के पास गया। नामान ने अराम के राजा को वह बात बताई जो इस्राएली लड़की ने कही थी।
नामान इस्राएल के राजा के लिये अराम के राजा का पत्र भी ले गया। पत्र में यह लिखा था: “यह पत्र यह जानकारी देने के लिये है कि मैं अपने सेवक नामान को तुम्हारे यहाँ भेज रहा हूँ। उसके विकट चर्मरोग को ठीक करो।”
मैंने अपने मन में कहा, “मुझे मनो विनोद करना चाहिए। मुझे हर वस्तु का जितना रस मैं ले सकूँ, उतना लेना चाहिय।” किन्तु मैंने जाना कि यह भी व्यर्थ है।
“अब मैं तुझको बताऊँगा कि अपने अंगूर के बगीचे के लिये मैं क्या कुछ करुँगा: वह कंटीली झाड़ी जो खेत की रक्षा करती है मैं उखाड़ दूँगा, और उन झाड़ियों को आग में जला दूँगा। पत्थर का परकोटा तोड़ कर गिरा दूँगा। बगीचे को रौंद दिया जायेगा।
मोआब और मिद्यान के अग्रज चले। वे बिलाम से बातचीत करने गए। वे उसकी सेवाओं के लिए धन देने को ले गए। तब उन्होंने, बालाक ने जो कुछ कहा था, उससे कहा।
ऐसा कहने वालो सुनो, “आज या कल हम इस या उस नगर में जाकर साल-एक भर वहाँ व्यापार में धन लगा बहुत सा पैसा बना लेंगे।”
तब शिमशोन ने उन तीस व्यक्तियों से कहा, “मैं तुम्हें एक पहेली सुनाना चाहता हूँ। यह दावत सात दिन तक चलेगी। उस समय उत्तर ढूँढने की कोशिश करना। यदि तुम पहेली का उत्तर उस समय के अन्दर दे सके तो मैं तुम्हें तीस सूती कमीज़ें, तीस वस्त्रों के जोड़े दूँगा।