इसलिए जब मुझे बुलाया गया तो बिना किसी आपत्ति के चला आया। अब मैं पूछता हूँ कि तुमने किस लिए मुझे बुलाया है?”
प्रेरितों के काम 28:20 - नवीन हिंदी बाइबल अतः इसी कारण मैंने तुम्हें बुलाया कि तुमसे मिलूँ और बातचीत करूँ, क्योंकि इस्राएल की आशा ही के कारण मैं इस ज़ंजीर से बँधा हूँ।” पवित्र बाइबल यही कारण है जिससे मैं तुमसे मिलना और बातचीत करना चाहता था क्योंकि यह इस्राएल का वह भरोसा ही है जिसके कारण मैं ज़ंजीर में बँधा हूँ।” Hindi Holy Bible इसलिये मैं ने तुम को बुलाया है, कि तुम से मिलूं और बातचीत करूं; क्योंकि इस्त्राएल की आशा के लिये मैं इस जंजीर से जकड़ा हुआ हूं। पवित्र बाइबिल CL Bible (BSI) इसी कारण मैंने आप लोगों को आमंत्रित किया कि आपसे मिलूं और बातें करूं। क्योंकि इस्राएल की आशा के कारण ही मैं इस जंजीर से जकड़ा गया हूँ।” पवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI) इसलिये मैं ने तुम को बुलाया है कि तुम से मिलूँ और बातचीत करूँ; क्योंकि इस्राएल की आशा के लिये मैं इस जंजीर से जकड़ा हुआ हूँ।” सरल हिन्दी बाइबल मैंने आप लोगों से मिलने की आज्ञा इसलिये ली है कि मैं आपसे विचार-विमर्श कर सकूं, क्योंकि यह बेड़ी मैंने इस्राएल की आशा की भलाई में धारण की है.” इंडियन रिवाइज्ड वर्जन (IRV) हिंदी - 2019 इसलिए मैंने तुम को बुलाया है, कि तुम से मिलूँ और बातचीत करूँ; क्योंकि इस्राएल की आशा के लिये मैं इस जंजीर से जकड़ा हुआ हूँ।” |
इसलिए जब मुझे बुलाया गया तो बिना किसी आपत्ति के चला आया। अब मैं पूछता हूँ कि तुमने किस लिए मुझे बुलाया है?”
अतः मैंने तुरंत तेरे पास लोग भेजे, और तूने आकर अच्छा किया। इसलिए अब हम सब यहाँ परमेश्वर के सामने उपस्थित हैं कि उन सब बातों को सुनें जो प्रभु ने तुझसे कही हैं।”
तब सेनापति ने पास आकर उसे पकड़ा और दो ज़ंजीरों से बाँधने का आदेश दिया, और पूछने लगा कि वह कौन है और उसने क्या किया है।
तब पौलुस यह जानकर कि एक दल सदूकियों का और दूसरा फरीसियों का है, महासभा में पुकारकर कहने लगा, “हे भाइयो, मैं फरीसी हूँ और फरीसियों के वंश का हूँ, और मृतकों के पुनरुत्थान की आशा के विषय में मुझ पर मुकदमा चलाया जा रहा है।”
और परमेश्वर में यह आशा रखता हूँ, जो ये स्वयं भी रखते हैं, कि धर्मी और अधर्मी दोनों का पुनरुत्थान होगा।
इस पर पौलुस ने कहा, “परमेश्वर से मेरी प्रार्थना है कि थोड़े में या अधिक समय में, न केवल तू बल्कि ये सब भी जो आज मेरी बातें सुन रहे हैं, वैसे ही बन जाएँ जैसा मैं भी हूँ—इन बंधनों को छोड़कर।”
फिर ऐसा हुआ कि तीन दिन के बाद पौलुस ने यहूदियों के प्रमुख लोगों को एक साथ बुलाया; और जब वे एकत्रित हो गए तो वह उनसे कहने लगा, “हे भाइयो, मैंने अपने लोगों के या अपने पूर्वजों की रीतियों के विरोध में कुछ भी नहीं किया, फिर भी मुझे यरूशलेम से बंदी बनाकर रोमियों के हाथों सौंप दिया गया है।
इसलिए, मैं जो प्रभु में बंदी हूँ, तुमसे आग्रह करता हूँ कि जिस बुलाहट से तुम बुलाए गए हो, उसके योग्य चाल चलो,
जिसके लिए मैं ज़ंजीरों में जकड़ा हुआ राजदूत हूँ, कि उसमें जैसा मुझे बोलना चाहिए साहस के साथ बोल सकूँ।
जिससे राजभवन के सारे पहरेदारों और बाकी सब लोगों पर यह प्रकट हुआ है कि मैं मसीह के लिए कैद में हूँ,
मुझ पौलुस का अपने हाथ से लिखा हुआ नमस्कार। मेरी बेड़ियों को स्मरण रखना। तुम पर अनुग्रह होता रहे। आमीन।
पर अब हमारे उद्धारकर्ता मसीह यीशु के प्रकट होने के द्वारा प्रकाशित हुआ है, जिसने मृत्यु का नाश किया और सुसमाचार के द्वारा जीवन और अमरता को प्रकाश में ले आया।
और जिसके लिए मैं दुःख उठाता हूँ, यहाँ तक कि अपराधी के समान बंधनों में भी हूँ; परंतु परमेश्वर का वचन किसी बंधन में नहीं है।
मैं तुझसे अपने बच्चे उनेसिमुस के लिए विनती करता हूँ जिसको मैंने कारावास में जन्म दिया।
मैं उसे अपने पास रखना तो चाहता था कि वह इस कारावास में जो सुसमाचार के कारण है, तेरी ओर से मेरी सेवा करे,