12 चौथे सुरगदूत नै तुरही बजाई, तौ सूरज को एक तिहाई भाग, चाँद को एक तिहाई भाग और तारौं के एक तिहाई भाग मै मुसीबत आई जिस्सै उनके एक तिहाई भाग मै इन्धेरो हो गओ, इसताँई दिन और रात मै बी एक तिहाई भाग मै इन्धेरो हो गओ।
“उन दिनौ जो मुसीबत पड़ैगी उसके तुरन्त बाद, “‘सूरज कारो पड़ जागो, चाँद सै उसकी चाँदनी ना छिटकैगी आसमान सै तारे गिरललगंगे और आसमान की महासकति हला दई जांगी।’
फिर ईसु नै कैई, “उन दिनौ सूरज, चाँद और तारौं मै चमत्कारी चिन्न दिखाई दंगे और धरती मै जाति-जाति के सब लोगौं मै मुसीबत आंगी और बे समन्दर के गरजनै और उथल पुथल सै घबरा जांगे।
सैतान जा दुनिया को देबता है, और बानै उन लोगौ की बुद्धि बन्द करर खाई है, और बे मसी मै बिसवास ना करै हैं जो परमेसर को रूप है, जो मसी की अच्छी खबर की महिमा की चमक कै ना देख सकै हैं।
उसनै अपनी पूँछ सै आसमान के तारौं को एक तिहाई हिस्सा खैंच कै धरती मै फैंक दओ। बौ बईयर जो बालक कै जलम दैनै बारी ही, अजगर उसके सामने खड़ो हो गओ ताकि बौ जैसेई उस बालक कै जलम दे, बौ उसके बालक कै खा जाऐ।