16 कैसेकै परभु को मन किसनै जानो है, कै बाकै सिकाए? पर जैसे मसी सोचै है बैसेई हम बी सोच सकै हैं।
अब सै मैं तुमकै गुलाम ना कैंगो, कैसेकै गुलाम ना जानै है कै बाको मालिक का करै है, पर मैंनै तुमकै दोस्त कैई है, कैसेकै बे सब बात जो मैंनै अपने अब्बा सै सुनी हैं तुमकै बता दंई हैं।
पबित्तर सास्तर मै लिखो है, “परभु के मन कै कौन जानै है? और उसकै सला दैनै बारो कौन हो सकै है?”
कैसेकै परमेसर के आत्मा के दुआरा किसी कै बुद्धि की बात दंई हैं, और किसी कै बाई आत्मा के दुआरा गियान की बात दंई हैं।