हप्ता के पैले दिन जब हम परभु की याद मै रोटी तोड़नै के ताँई इखट्टे भए तबई पौलुस उनके संग बात बतकाल लगो कैसेकै बाकै दूसरे दिन जानो हो इसताँई आधी रात तक बौ उनके संग बात बतकातो रैहओ।
धन्नबाद को बौ कटोरा जिसके ताँई हम धन्नबाद देवै हैं, तौ का हम मसी के खून मै साजेदार ना हैं? और बौ रोटी जिसकै हम तोड़ै हैं, तौ का हम मसी के सरीर के साजेदार ना हैं?
गलातिया के बिसवासिऔ की मंडलिऔ कै मैं पौलुस की ओर सै और मेरे संगी बिसवासी भईयौ और बहनौ की ओर सै जौ चिट्ठी लिख रओ हौं। मैं ना तौ किसी आदमी की ओर सै और ना लोगौ की ओर सै भेजो भओ हौं, पर ईसु मसी और पिता परमेसर के दुआरा भेजो भओ चेला हौं। और पिता परमेसर नै मसी ईसु कै मरे भएऔं मै सै जिन्दो करो।