48 जीवन की रोटी हाँव असो।
48 जू जीवन दैंव सैजै रोटै हांव औसौ।
भागोईत असो! सेजे जू धर्म के भूखे-च़ीषे असो, किन्देखे के तिनू छ़कऐं देई दे।
ईन्देंखे यहूदी लोग तिनू गाशी तुड़-खुड़ाँदे लागे, किन्देंखे के प्रभू यीशू ऐं बुलो थियो, के “जुण्जी रोटी स्वर्गो शी ऊदी ऊत्री, सेजी रोटी हाँव असो।”
हाँव ही स्वर्गो शी ऊदी ऊत्री अंदी जीवन की रोटी असो; अरह् जुण्जा कुँऐं ऐजी रोटी खाँव; से हमेशा जीऊँदी रंह्दा, अरह् जुण्जी रोटी हाँव देऊँबा, सेजी रोटी संईसारी खे जीवन के ऐक भेंट करी अंदी मेरी देह्-शरीर असो।”