33 तबे चैले ऐ आपु मुँझी बुलो, “कियों कुँणिऐं किऐ ईनखे खाँणों खे लियाऐ थो?”
33 तोबै चैलै आपी मुंजी बौल़ौ, “का कुणिए ऐसी कारिए किछै खाणौ खै लाए राए?”
तबे झ़िषों तिन्ऐं आप्णे चैले बईदे अरह् तिनू मुझ्शे किऐ बारंह् चैले छाँटे अरह् तिनखे प्रभू यीशू के खास-चैले बुले गुऐ,
परह् चैले के सेजी बात सम्झ दे ने आई, अरह् सेजी बात तिन के सम्झ शी बाऐर थी; अरह् सेजै चैले तियों बात पुछ़्णों शे प्रभू यीशू दे डरह् थिऐ।
जुण्जे चैले संत्त-यूहन्ना की बात शुँणिंयों प्रभू यीशू पाछ़ी चाले, तिनू दुई मुँझ्शा ऐक शिमौन पतरस का भाऐ अन्द्रियास थिया।
प्रभू यीशू अरह् तिनके चैले भे जाज्ड़े दे बय्दी थुऐ थिऐ।
प्रभू यीशू ऐ चैले खे बुलो, “खाँणों खे मुँह कैई सेजा भोजन असो; जिन्दें के बारे दो तुऐं किऐ ने जाँण्दे।”