5 ‘ये वजह मर्द आपणे आई-ब़ा कनु अलग़ हुती कर आपणी घराआली चे लारे रिही ते वे ङोनी हेक तन हुवे?’
तां वे हमा ङोन कोनी, पर हेक तन छी। ऐवास्ते जानु नरीकारा ने जोड़ले, ओनु इन्सान अलग़ ना करो।”
प्रेम निष्कपट हो, बुराई लारे नफरत करा, भलाई करने मां लाग़ले रिहा।
का तम्ही ना जाणा कि जको कुई वेश्या लारे संगति राखे ओ विचे लारे हेक तन हुती जाये? कांकि लिखले आले छै, “वे ङोनी हेको तन हुवे।”
पर व्यभिचार कनु बचणे वास्ते हर-हेक मर्दा ची आपणी घराआली ते हर हेक असतरी चा आपणा मोणस हो।
सेर्फ घराआली नु ही आपणे शरीरा उपर अधिकार कोनी पर विचे मुणसा चा अधिकार छै यूंही सेर्फ मुणसा नु वी आपणे शरीरा उपर अधिकार कोनी पर ओची घराआली चा वी छै।
पवित्रशास्त्र मां इसड़े लिखले आले छै, “ऐवास्ते मर्द आपणे आई-ब़ा नु छोड़ती कर आपणी घराआली लारे मिड़ला रिही, ते वे ङोनी हेको तन हुवे,”