ऐवास्ते जितने लौक व्यवस्था चे कामा उपर भरोसा राखी वे श्राप चे गुलाम छी कांकि लिखले आले छै कि “जको कुई व्यवस्था चीया सारीया बाता पुरीया करने मां मजबूत ना रिही ऊं श्रापित छै। ”
ते अगर कानु काये उपर दोष लावणे ची कुई वजह हो, तां हेक ङुजे ची सेहती गिहा ते हेक ङुजे चे अपराध माफ करा, जिंवे प्रभु ने तम्चे अपराध माफ करले, यूंही ही तम्ही करा।