ते मैं हा बात तम्हानु ऐवास्ते लिखली हुती, कि कङी इसड़े ना हो, कि माये आवणे उपर, जाये कनु खुशी मिलणी चाही छै, मैं वांचे कनु उदास हुवे। कांकि मनु तम्चे सारा उपर ये बाते चा भरोसा छै कि, जको माई खुशी छै, वा तम्चे सारा ची वी हो।
ऐ वजह कनु जब माये कनु नेरे रेहले ना गेले, तां तम्चे विश्वास चा हाल जाणने वास्ते तीमुथियुस नु भेज़ले। कि कहीं इसड़े ना हो, कि परीक्षा करने आले शैताना ने तम्ची परीक्षा करली हो, ते अम्ची मेहनत बेकार हुती गेली हो।