37 इंसान अपनी ज्यान के बदले मैं का दै सकथै?
37 और एक आदमी सदाकालको जीबनके किनन ताहीं परमेश्वरके का दएपएहए? कुछु फिर नाए!
अगर इंसान पूरी दुनिया कै पाए लेबै और अपनी ज्यान कै गबाबै, तौ बाकै का फायदा?
जो कोई व्यभिचारी और पापी पीढ़ी के बीच मोसे और मेरी बातन से सर्मागो, तौ इंसान को लौड़ा भी जब बौ पवित्र दूतन के संग अपने दऊवा की महिमा समेत आगो, तौ बहो से सर्मागो।”