12 यो गोस्टी बिचार करन जोग से। का एकच मानूस लक जग मा पाप आयो, अना पाप लक मौत, असो परकार सबा मानूस मा यो मौत फैल गई। काय से की सबच पापि सेत।
हरेक मानूस ना पाप करयो सेत। अना परमेस्वर कन लक दियो तेज बचाव लक लगत दुहूर सेत।
एकोलाय जसो एक गलति, सब मानूसगिन को लाय दन्ड को, हुकूम को कारन भयो। वसोच एक नेकी को काम भी, सब मानूस को लाय जीवन को कारन ठैयरेत।
काहेका जसो एक मानूस को हुकूम नही मानन को कारन गजब लोकगीन पापी ठहरिन, वसोच एक मानूस को हुकूम माननो लक, गजब लोकगीन नेक ठहरायो गइन।
एकोलाय जसो पाप मौत को कारन सासन करा सेत। वसोच परमेस्वर की किरपा को भी नियम, अमीला यीसु मसीह को कारन अमर जीवन को कन लेजावा सेत।
अबा जोन बात मा तूमी लज्जित होवा सो, उनमा वोना बेरा तुमीला काजक भेटत होतो। काय का वोको अन्त तो मरनो सेत।
काहेका पाप को बनी तो मरनो से, पर परमेस्वर को बरदान आमरो पिरभू यीसु मसीह मा अमर जीवन सेत।
मिरतु को डंक तो पाप सेत, अना पाप ला मोसे को नियम लक ताकत मिला सेत।
उनमा आमी भी पयले आपरो देह की मोह मा दिवस बितात होता, देह अना मन को मरजी ला पूरो करत होता, अना अखीन संसार को दुसरो लोकगीन को जसो बरताव लक परमेस्वर को गुस्सा की लेकरा होता।
मंग अभिलासा गरभ धरासेत, अना पाप ला जलम देवा सेत। मंग पाप बड़ सेत अना मिरतु ला आना सेत।
एकोलाय का हमी सबरी लगत बार चूक जाहेत जोन कोनी बचन मा नही चूकासेत उ च त सिद्ध मानूस से अना सारी तन मा पर लगाम लगाय सकासेत।