अदी मोरो जवर पेरीत जसो उपदेस देवन को वरदान सेत। मोला सबा परकार को गियान हो सका सेत, अना सबा राज की गोस्टी समजनो असान सेत। पहाड़ ला हटान को बिस्वास सेत। पर पिरेम नाहती तो काही नाहती।
मसीह ना हमला आन के मोसे को नियम को काम को सिराप लक छुड़ायीस अना खुदच आमरो साठी सिरापित बन गयो, काहेकि लिखीसे, “जोन कोनी लकड़ी को कूरूस मा लटकायो जावसे उ सिरापित से।”
मसिहा खुदच अपरी देह मा हामरो पाप बुराई आन के कूरूस मा चघ गयो। जेनको लक हमी पाप बुराई को लाय मर गयो अना धरमिपन अना नेकी को लाय जित्तो भयि गयो काहेकी वोको घाव लगनो लक तुमी साजरा भईसेव।
एकोलाय मसीह ना भी जोन एक नेक मानूस होतो। एक च बेरात, पाप साठी दुख भोगयो। यासाठी क परमेस्वर कना अमी ला लेजाय। उ देह मा तो मारयो गयो, पर आत्मा मा, जित्तो भयो।