27 गियानी गिनला लजान काजी, परमेस्वर न तुम लोकगीन ला बेचयो से, जोन दुनिया को डोरा मा मुरख से। ताकतवर गीनला लजान काजी, वोना लोकगीन ला निवड़ीसेस, जोन दुनियाँ को डोरा मा कमजोर से।
वोच बेरा यीसु ना कव्हयो परमेस्वर बाबूजी सरग, अना धरती को पिरभु, मी तोरो धनवाद करासू, का तूना यो गोस्टी ला अक्कलवर अना समजदार लोकगीन लक, लूकाईसेस अना लेकरागिन पर परगट करयो से।
अना ओला कव्हन लगीन, “तु आयक यो काजक कव्हासेत?” यीसु ना उन लक कहीस, “हव का तुमी ना गीरंथ मा यो कबच नही वाचिसेव? टूरागीन अना दुध पिवता लेकरा को टोन्डलक तु ना गजब स्तुति कराईसेस।”
काही एपिकूरी अना स्तोइकी सिक्सक भी वोको लक बहेस करन लगीन। उन मा लक लोक कव्हन लगीन “यो बाकवाद करन वालो काजक चाहवासे ‘दुसरो न कहीस’ यो त विदेसी देव गीन पिरचार करन वालो मालुम पडसे” उनना एकोलाई कहीस का उ यीसु को बारे मा उपदेस देवत होतो। मंग जित्तो होवन को पिरचार करत होतो।
यो वोच मोसे सेत, जोनला असो कहके नकारो गयो होतो तोला सासक अना अधिकारी कोन ना बनाइसेस? ये वोच से जोनला परमेस्वर न झाड़ी मा दरसन दियो होतो। वोचला परमेस्वर ना सासक अना मुक्ति देवन वालो को रुप मा धाडीस।
ओ मोरो चहेतो भाऊगीन, आयको। का परमेस्वर न संसार को नजर मा ओना गरीबहून ला भरौसा मा धनी अना ओना राज को वारसाना को रूप मा नही निवड़ीसेस, जेनला परमेस्वर ना, जोन ओला माया करासेत, देवनो को बचन देयीसेस।