18 “रामा ह़ेर मे गीण आवे एवी अवाज ह़मळाय पड़ी, रड़वा अने नेहरा दीन रड़वु ह़मळाय पड़्यु। राहेल आह़फा सोरा नी करते रड़वा बाज री हती। काहाके तीहया हाव नी र्या।”
अने तत्यार भगवान वगे गेथा केण्या माणेह यीरम्या नी केदली वात पुरी हय जी,