44 ता तीहयो केय ‘जा गेथो नीकळ्ळो से, तांत मारा तीहया घोर मे पासो जही।’ अने भुतड़ा नो वीटळ्ळो जोम पासो आवे, ता तीने तीहयु घोर ह़ुन्लु, झाटकीन बारलु अने चापड़ु करीन घटाळु करलु देखाव पड़े।
कोय बी माणेह काना बी जोर वाळा माणेह ना घोर मे भराय्न ह़मान नी लुट सके जत्यार तक तीहया ते जोर वाळा माणेह ने बांद नी लेय। अने जत्यार तीहयो ते जोर वाळा ने बांद लेय, तत्यार तीहयो तीना घोर मे भराय्न ह़मान लुट सके।
“जत्यार वीटळ्ळी आत्मा माणेह मे गेथी नीकळी जाय, ता तीहयी अराम करवा करीन, ह़ुकला जागा मे, जागो ह़ोदती रेय; पण तीने अराम नी जड़े।
ता तीहयी वीटळ्ळी आत्मा पासी जत रेय अने जाय्न तीनी ह़ाते बीजी ह़ात कुहर्याण वीटळ्ळी आत्मा ने बी ली आवे। अने तीहया माणेह मे भराय्न तांत रेवा बाज जाय। अने तीहया माणेह नी पेले गेथी बी जादा वेला हय जाय। आवीत वेला आहया पीड़ी ना माणहु नी बी हयहे, जे कुहर्या से।”