11 तेवी मी रागाम बोरायीन सुगोण खाईल, ता मार हुका माय रिगणे नाय जुवे!”
11 तेवी मी रागामाय आवीन शपथ खायील, ते मारो आरामाम प्रवेश केरूह शकणार नाहं.
पुण आपु जा बुरहो किरेल हेते, ता आराम माय रिगतेह। जीहे तु कियेल ईतो: “मी मारा रागा माय सुगोण खाईल हे, ता मारा आराम माय रिग नाय सेकती!” दुनियाह बोणनेन बुखे रेन तान काम पुरा एय जायेल एता।
एक वारीन उंजु ज्याच बागाम पोशो किथे, “ता मार आराम माय रिग नाय सेकती।”
ते जो बी एय, जिहकेरीन बोगवान हातवे दिह आराम किरेह, तिहेस केरीन बोगवानान माणहान केरता तो एक आराम बाकी हे।