11 काहाकाय जो कुण ओहला माणहान नमस्कार किरेह, ताहार तो तान खाराब कामा माय बेलाथे।
11 काहाकाय जो कूण ओला जाणाह नमस्कार करने, तो तान वाईट काम माय भागीदार एतो.
आदर ने बेकार कामा माय सामील मा ईहो, पुण ताह आखान ओंगाण देखाड़जी।
उतवाल्यो एन कुणी पोर बी आथ मा मिलहे, एने दिहरान पापाम बागी मा इही; आपणे आपाह चोखो बोणावीन मेल।
दुद पिणाराह ते देरमान वचनान ओलखात नाह रेणे, काहाकाय तो सोरो हे।
एने मोकतास माणहाह नेरगान आक्ठाम रेन निकालो; एने मोकतास माणहाह पोर बिय हेऱ्या गीण किरो, पुण ता फाड़काह बी नफरत किरो जो सेरीरान उगे रेन ढागावाला एय जायेल हे।
पुशो मी हेरगा माय रेन ज्यो आवाज होमल्यो: “एय मारा माणहा! ता माय रेन निकलीन न्या आवो! एने तान पापा माय तुमू बागीदार मा बुणो; तेवी ता पोर आवणार डेंडाह रेन वोच सिकहो!