यू बात सारो मण्डली ख चोक्खो लगियो, अर अर उन्होना स्तिफनुस नामक एक अदमी का जो कि विस्वास अर सुध्द आत्मा म भरपुर्न हतो, अर फिलिप्पुस, अर प्रुखुरुस, अर नीकानोर, अर तीमोन, अर परमिनास, अर अन्ताकिया वासी नीकुलाउस का जे यहूदी मत म आ गयो हतो, चुन लियो।
साऊल ओको मरन को संग सहमत हतो। उही दिन यरूसलेम को कलीसिया पर बड़ो मूसिबत आरम्भ भयो अर प्रेरित हुन का छोड़ सब क सब यहूदिया अर सामरिया देस हुन म तितर-बितर हो गयो।
प्रभु को एक स्वर्ग दूत न फिलिप्पुस ख बोलते हुए बतायो “तैयार हो जा, अर दक्छिन दिसा म वा रस्ता म जा, जो यरूसलेम से गाजा ख जावा हैं।” यू एक बियाबान रस्ता हैं।
फिलिप्पुस जब उ रहा को जोने दऊड ख गयो ते ओ ना ओखा यसायाह भविस्यवक्ता कि किताब पढते सुन्यो। एकोलाने उ बोल्यो, “का जेखा तू पढ़ रयो हैं ओखा का समझा भी हैं?”