मोरो बाप न मोखा सब कुछ सोपियो हैं। अर पोरिया ख कोई नी जाना, पर सिर्फ पोरिया; अऊर न कोई परमेस्वर ख जाना हैं, पर सिर्फ बाप; अर नी कोई बाप का जाना सिर्फ पोरिया अर उ जेपर पोरिया ओखा प्रगट करनो चाहे।
अभी हम न आईना म धँधुलो सो दिखाई दे हैं, अदि ओ ख बखत आमने सामने देखे हैं: यू बखत ग्यान अधूरो हैं, पर ओ ख बखत असो पूरो रिती रिवाज से चीन ले, जसो मी चीन लूँ हैं।
अदि जसो लिखो हैं, “जो बात हुन आँखी न नी देख अऊर कान न नी सुनी, अऊर जे बात हुन अदमी को मन म नी चढ़ी, वी ही आय जे परमेस्वर न अपनो प्रेम रखन वालो का लाने तैयार करो हैं।”
अरे प्यारो दोस्त, अब हम परमेस्वर को वारिस आय, अर अभी लक यी प्ररगट नी भयो कि हम ख कुछ होए हैं! इत्तो जानह हैं कि जब यीसु मसी प्ररगट होए ते हम ओखा जसो होए, काहे कि ओ ख वसो ही देखे जसा उ हैं।