10 ऊ ओखर पीरा लग डर के उहै लग बोहत दुरिहां ठाढ हुइके कइहिन, हे महानगरी, बेबीलोन, “हे महानगरी, सक्ति बाले, हाय हबै तोर उप्पर घंटा भरमा हे तोर सजा के टेम आय पहुंचे हबै।”
उनखर लोथ ऊ महानसहर के चउकी हे पडे रही, हइ सहर जउन सरल भासा अउ आतमिक रूप हे सदोम अउ मिस्र कहाथै, इहै उनखर परभु के क्रूस हे चढाय के मारे रथै।
ओखर पाछू अक दूसर स्वरगदूत आइस अउ कथै, “ओखर नास हुइ गय हबै बडा सहर बेबीलोन के नास हुइ गय हबै, जउन सगलू देस के अपन गलत काम के नसा के दारू पिलाय हबै।”
एखर लग महासहर के तीन खन्डा हुइ गइस, सगलू देस के सहर नास हुइ गइस, भगवान बडा सहर बेबीलोन के सुरता करिस अउ उके अपन गुस्सा लग दारू के नसा पिलाइस।
“तै जउन दस सींग के देखे हबस ऊ दस राजा हबै, उनके अब तक राज नेहको मिले हबै पय उनके चुटु टेम के निता गोरू के संग राजन के जसना हक दय जही।
अउ ओखर जलै के धुंवा के देखके बोहत आरो लग कथै, “हइ महानगरी के बरोबरी कउन सहर के सकिस?”
फेर उन अपन मूड हे धूर डालत अउ रोउत कथै, “हे महानगरी, हाय-हाय जेखर पइसा के दवारा समुन्दर के सगलू नाह जिहाज बाले मालिक धन्नड हुइ गय रथै, पय अब तै घंटा भर हे सगलू खतम हुइ गइस।”
फेर अक्ठी सक्तिसाली स्वरगदूत चक्की के पट्टी जसना अक्ठी बडा पथरा उठाइस अउ उके समुन्दर हे फटकत कथै, “हे महानगरी, हे बेबीलोन, ठीक ओसनेन तै गिराय दय जइहे अउ उनखर पतो नेहको चलही।
इहै कारन अक्कै रोज हे ओखर उप्पर परेसानी आ पडही, मतलब महामारी, दुख अकाल, अउ उके आगी हे जराय दय जही, काखे सक्तिमान हबै परभु भगवान जउन ओखर नियाव करही।